Ranchi Muharram : नवीं मुहर्रम के अवसर पर शनिवार को रांची के अनवर आर्केड (स्वर्गीय एडवोकेट सैयद यावर हुसैन के आवास) से पारंपरिक मातमी जुलूस निकाला गया। जुलूस अनवर आर्केड से शुरू होकर अंजुमन प्लाजा चौक, डॉक्टर फतेहुल्लाह रोड होते हुए मस्जिद ए जाफरिया पहुंचा। इसमें बड़ी संख्या में अज़ादारों ने भाग लिया।
जुलूस से पूर्व अनवर आर्केड में शहीदाने कर्बला की याद में मजलिस आयोजित की गई। इसे झारखंड वक्फ बोर्ड के सदस्य एवं मस्जिद जाफरिया के इमाम-ए-जुमा हजरत मौलाना हाजी सैयद तहजीबुल हसन रिजवी ने संबोधित किया। उन्होंने कहा कि कर्बला केवल एक घटना नहीं, बल्कि हक और इंसानियत की जीत का प्रतीक है। यजीदी फितरत आज भी समाज को तोड़ने में लगी है, लेकिन कर्बला की घटना हमें सिखाती है कि सत्य कभी पराजित नहीं होता।
मौलाना ने कहा कि इस्लाम का आतंकवाद से कोई संबंध नहीं है, बल्कि यह अमन और इंसानियत का धर्म है। हमें हर दौर के ‘यजीद’ का मुकाबला करना है और हक की राह पर चलना है।
मजलिस के बाद अलम का जुलूस निकला, जिसमें नौहाखानी आमिर गोपालपुरी, कासिम अली, सैयद असगर इमाम रिजवी द्वारा की गई। मस्जिद जाफरिया पहुंचने पर यह जुलूस सभा में तब्दील हो गया और पूरा माहौल “हाय हुसैन”, “प्यासा हुसैन” के नारों से गूंज उठा।
इस अवसर पर सैकड़ों लोग शामिल हुए, जिनमें अशरफ हुसैन रिजवी, डॉ. अनीस हैदर, जावेद हैदर, डॉ. शमीम हैदर, डॉ. मुबारक अब्बास, आगा जफर, अली अहमद निकी, सैयद शाहरुख हसन रिजवी, इकबाल फातमी, जसीम रिजवी, एस. एच. फातमी, नदीम रिजवी, अली इमाम, सैयद फराज अब्बास, फराज अहमद, गुलामु ईरानी सहित अनेक प्रमुख लोग उपस्थित थे। इस कार्यक्रम का आयोजन सैयद यावर हुसैन के पुत्रगण सैयद एहतेशाम अब्बास और सैयद इंतेखाब अब्बास द्वारा किया गया।
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