सेट्रल डेस्क : TikTok, जो दुनिया भर में लाखों यूज़र्स के बीच अपनी लोकप्रियता का परचम लहरा रहा है, अब अमेरिका में भी मुश्किलों का सामना कर रहा है। अमेरिका ने टिकटॉक पर प्रतिबंध लगाने की योजना बनाई है, जिससे एप के 17 करोड़ यूज़र्स प्रभावित हो सकते हैं। यह कदम एक फेडरल बैन के लागू होने के कारण उठाया गया है, और इसके पीछे कुछ गंभीर आरोप हैं जो टिकटॉक और उसकी पैरेंट कंपनी ByteDance पर लगाए गए हैं। आइए जानते हैं वे आरोप, जिनके चलते अमेरिका ने टिकटॉक पर इस कड़े कदम की योजना बनाई है।
- राष्ट्रीय सुरक्षा पर खतरे की आशंका
एफबीआई के निदेशक क्रिस रे ने टिकटॉक को राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए खतरा बताया है। उनका कहना है कि चीन सरकार ByteDance से जानकारी साझा करने के लिए उसे मजबूर कर सकती है। चीन की सरकार का दावा है कि वह अपनी राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए किसी भी सूचना को इकट्ठा करने का अधिकार रखती है। रे का कहना है कि चीन सरकार TikTok का इस्तेमाल करके अमेरिकी नागरिकों के डेटा को इकट्ठा कर सकती है और उनका प्रभावशाली तरीके से उपयोग कर सकती है।
- अमेरिकी यूज़र्स को प्रभावित करने का खतरा
एफबीआई निदेशक के अनुसार, चीन सरकार टिकटॉक के अल्गोरिदम का इस्तेमाल कर सकती है, ताकि अमेरिकी यूज़र्स के विचारों और व्यवहार को प्रभावित किया जा सके। उनका कहना है कि यह एप ऐसे डेटा इकट्ठा करता है, जिसे चीन के लोग अपने फायदे के लिए इस्तेमाल कर सकते हैं। पॉल नाकासोने, जो नेशनल सिक्योरिटी एजेंसी के पूर्व निदेशक हैं, ने भी इस चिंताजनक मुद्दे को उठाया है। उनका कहना है कि टिकटॉक के माध्यम से एकत्र किए गए डेटा और अल्गोरिदम का उद्देश्य यूज़र्स को प्रभावित करना हो सकता है, जिससे चीन को राजनीतिक लाभ मिल सकता है। हालांकि, टिकटॉक का दावा है कि वह किसी भी सरकार को अपने सिफारिशी मॉडल को प्रभावित करने की अनुमति नहीं देता।
- यूज़र्स का डेटा चीन को सौंपने का आरोप
अमेरिकी सांसदों का आरोप है कि 2017 के चीनी कानून के तहत, चीनी सरकार ByteDance से टिकटॉक के यूज़र्स का डेटा मांग सकती है। इसके अनुसार, चीन सरकार किसी भी कंपनी से उसके डेटा को मांग सकती है, यदि वह कंपनी चीन के अधिकार क्षेत्र में आती है। टिकटॉक का जवाब है कि इसकी मुख्य कंपनी कैलिफोर्निया और डेलावेयर में रजिस्टर्ड है, और इसलिए यह अमेरिकी कानूनों के तहत काम करता है। टिकटॉक के CEO ने स्पष्ट किया है कि उन्होंने कभी भी अमेरिकी यूज़र्स का डेटा चीन सरकार को नहीं दिया है, और न ही भविष्य में ऐसा होगा।
- बच्चों के मानसिक स्वास्थ्य पर नकारात्मक प्रभाव
मार्च 2022 में, अमेरिका के आठ राज्यों ने यह जांच शुरू की कि क्या TikTok बच्चों के मानसिक स्वास्थ्य पर नकारात्मक असर डाल रहा है। विशेषज्ञों का मानना है कि इस ऐप के कंटेंट से बच्चों के मानसिक विकास पर बुरा असर पड़ सकता है, खासकर जब वे अनुचित या हानिकारक कंटेंट से प्रभावित होते हैं। अक्टूबर 2024 में, अटॉर्नी जनरल ने TikTok पर बच्चों को नुकसान पहुंचाने के आरोप में मुकदमा दायर किया।
- पत्रकारों की जासूसी
दिसंबर 2022 में, ByteDance ने स्वीकार किया कि कुछ कर्मचारियों ने गलत तरीके से TikTok यूज़र्स के डेटा को देखा था। यह घटना उस समय सामने आई जब कंपनी अपनी जानकारी लीक होने की जांच कर रही थी। आरोप है कि इन कर्मचारियों ने पत्रकारों के बारे में जानकारी हासिल करने की कोशिश की थी। इस मामले में शामिल चार ByteDance कर्मचारियों को निकाल दिया गया, जिनमें से दो चीन में और दो अमेरिका में काम करते थे। कंपनी के अधिकारियों ने इस घटना को गंभीरता से लिया और यूज़र्स के डेटा की सुरक्षा के लिए अतिरिक्त कदम उठाने का आश्वासन दिया।
अमेरिका और चीन के बीच तकनीकी युद्ध
यह आरोप अमेरिका और चीन के बीच चल रहे तकनीकी युद्ध का हिस्सा हैं। अमेरिका और चीन के बीच व्यापार युद्ध, डेटा सुरक्षा, और अन्य तकनीकी विवादों के बीच टिकटॉक एक प्रमुख मुद्दा बनकर उभरा है। अमेरिका का यह कदम चीन द्वारा वैश्विक तकनीकी कंपनियों पर अपने प्रभाव को बढ़ाने के प्रयासों के खिलाफ है। अमेरिकी सरकार का मानना है कि चीन की सरकार अपने तकनीकी उपकरणों के जरिए विदेशी देशों की आंतरिक सुरक्षा में हस्तक्षेप करने का प्रयास कर सकती है।
TikTok का बयान
इन सभी आरोपों के बावजूद, टिकटॉक ने बार-बार दावा किया है कि वह किसी भी देश की सरकार को यूज़र्स का डेटा देने के लिए मजबूर नहीं है और वह पूरी तरह से पारदर्शिता और सुरक्षा के साथ काम करता है। कंपनी ने यह भी कहा है कि वह किसी सरकार के दबाव में आकर अपने सिफारिशी मॉडल को प्रभावित नहीं होने देगी।
Read Also- ऑस्ट्रेलिया में 16 साल से कम उम्र के बच्चों पर सोशल मीडिया को लेकर प्रतिबंध लगाने की योजना