सेंट्रल डेस्कः प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मध्यप्रदेश यात्रा के दौरान विपक्षी नेताओं पर तीखा हमला करते हुए धर्म का मजाक उड़ाने और देश को बांटने की कोशिश करने का आरोप लगाया। उनका यह बयान पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी द्वारा प्रयागराज के महाकुम्भ मेला को ‘मृत्यु कुम्भ’ कहने के कुछ दिन बाद आया हैं।
पीएम ने कहा, “आजकल हम देखते हैं कि कुछ नेता धर्म का मजाक उड़ाते हैं और लोगों को बांटने का काम करते हैं। अक्सर विदेशी शक्तियां भी इन लोगों का समर्थन करके देश और धर्म को कमजोर करने की कोशिश करती हैं।”
मोदी ने विपक्ष पर किया हमला
विपक्ष पर हमला करते हुए मोदी ने कहा कि जो लोग “गुलामी की मानसिकता में फंसे हुए हैं,” वे भारत के मठों, आस्थाओं, मंदिरों, साधुओं, संस्कृति और सिद्धांतों पर हमला करते हैं। वे हमारे त्योहारों, परंपराओं और रिवाजों का अपमान करते हैं। वे हमारे धर्म और संस्कृति को बदनाम करने की हिमाकत करते हैं, जो अपने आचरण में प्रगति की ओर अग्रसर है।”
धीरेंद्र शास्त्री को बताया अपना “छोटा भाई”
बागेश्वर धाम में 218 करोड़ रुपये की लागत से बनने वाले 200 बेड वाले कैंसर अस्पताल की आधारशिला समारोह के दौरान की पीएम मोदी ने धार्मिक उपदेशक धीरेंद्र शास्त्री को अपना “छोटा भाई” बताया। अपनी बात में मोदी ने सरकार की ‘सबका इलाज’ और ‘सबका आरोग्य’ प्रतिबद्धता को रेखांकित किया और धार्मिक संस्थानों को विज्ञान और सामाजिक सेवा के केंद्रों के रूप में महत्व दिया।
स्थापित किए जाएंगे कैंसर डे-केयर सेंटर
प्रधानमंत्री मोदी ने मुफ्त चिकित्सा सेवाएं प्रदान करने वाले अस्पतालों और शोध संस्थानों का संचालन करने वाले धार्मिक ट्रस्टों के धर्मार्थ प्रयासों की सराहना की। उन्होंने आयुर्वेद और योग को भी सराहा और मंदिरों व मठों की सामाजिक सेवा में भूमिका को उजागर किया। मोदी ने सरकार की योजना का पुनरावलोकन करते हुए कहा कि हर जिले में तीन साल के भीतर कैंसर डे-केयर सेंटर स्थापित किए जाएंगे और कैंसर की दवाओं को सस्ता किया जाएगा, ताकि स्वास्थ्य देखभाल पर परिवारों पर वित्तीय बोझ कम हो सके। इन पहलों में आयुष्मान कार्ड प्रदान करना शामिल है, जिससे ₹5 लाख तक मुफ्त इलाज की सुविधा मिल सके।
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने महाकुम्भ के इंतजामों की आलोचना करते हुए इसे ‘मृत्यु कुम्भ’ कहा और यह बताते हुए कि इसमें योजनाबद्धता की कमी है और आर्थिक स्थिति के आधार पर वहां उपस्थित लोगों को सुविधाओं में भेदभाव किया गया है।
महाकुम्भ को माना जाएगा ‘एकता का महा कुम्भ’
महाकुम्भ पर विचार करते हुए मोदी ने कहा, “महा कुम्भ अब पूरा हो चुका है। करोड़ों लोगों ने पवित्र स्नान किया और संतों को देखा। आने वाले दशकों में यह महाकुम्भ, जो 144 वर्षों के बाद आया, ‘एकता का महा कुम्भ’ माना जाएगा और यह ‘अमृत’ की तरह एकता को प्रेरित करता रहेगा।”