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Bhikhari Thakur ने सामाजिक चेतना को राष्ट्रीय फलक पर पहुंचाया, जयंती पर यायावरी ने किया याद

by The Photon News Desk
Bhikhari Thakur
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गोरखपुर। Bhikhari Thakur Birth Anniversary: भोजपुरी के शेक्सपियर कहे जानेवाले भिखारी ठाकुर के बारे में जब बातें शुरू होती हैं तो उनके व्यक्तित्व व कृतित्व के एक के बाद एक नए आयाम सामने आने शुरू हो जाते हैं। नए पन्ने खुलने लगते हैं। कला के महान पुजारी भोजपुरी के शेक्सपियर और नट सम्राट Bhikhari Thakur की जयंती पर भोजपुरी के लिए समर्पित संस्था यायावरी वाया भोजपुरी की ओर से सोमवार को एक विचार गोष्ठी का आयोजन किया गया।

यायावरी वाया भोजपुरी की गोष्ठी में Bhikhari Thakur पर रखे गए विचार

वैसे Bhikhari Thakur की सर्वाधिक लोकप्रिय रचना बिदेसिया पर बात, इसका मंचन तो होता ही रहता है लेकिन Bhikhari Thakur की जयंती पर भोजपुरी  कथा-साहित्य व कला से जुड़े लोग जरूर याद करते हैं। इसी कड़ी में भोजपुरी के लिए समर्पित संस्था यायावरी वाया भोजपुरी की ओर से सोमवार को एक विचार गोष्ठी का आयोजन किया गया। इसका सजीव प्रसारण यायावरी वाया भोजपुरी के फेसबुक पेज से हुआ।

Bhikhari Thakur

गोष्ठी में किसने क्या कहा

इस विचार गोष्ठी में वक्ता के रूप में भोजपुरी के समर्थ रचनाकार अजय यादव और गीतकार, कवि और नाटककार आदित्य राजन ने अपने विचार रखे। इस दौरान Bhikhari Thakur की सामाजिक चेतना, स्त्रियों की पीड़ा, दलित विमर्श आदि को लेकर किए गए प्रयासों पर चर्चा की गई। दोनों वक्ताओं ने इस बात पर बल दिया कि भिखारी ठाकुर ने सामाजिक चेतना को राष्ट्रीय फलक तक पहुंचाया। गोष्ठी का संचालन सुधीर कुमार मिश्र ने किया। इस मौके पर गौरव मणि त्रिपाठी, श्वेता, मिनी आदि मौजूद रहीं।

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