नई दिल्ली : दिल्ली विधानसभा चुनाव की मतगणना से पहले आम आदमी पार्टी (AAP) ने अपने सभी 70 उम्मीदवारों के साथ एक अहम बैठक बुलाई है, जिसकी अध्यक्षता पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल करेंगे। यह बैठक बेहद महत्वपूर्ण है, क्योंकि पार्टी को चुनाव परिणाम से पहले कुछ गंभीर आरोपों का सामना करना पड़ रहा है।
बैठक का आयोजन आज दोपहर 11.30 बजे किया जाएगा। इसे लेकर दिल्ली में एक बार फिर हलचल मच गई है, खासकर ‘ऑपरेशन लोटस’ के आरोपों के बाद। ये आरोप बीजेपी पर लगाए गए हैं और इनका उद्देश्य चुनाव परिणाम से पहले माहौल को बदलने का है। शनिवार को दिल्ली विधानसभा चुनाव के परिणाम घोषित होंगे और इससे पहले आम आदमी पार्टी पूरी तरह से सतर्क है।
ऑपरेशन लोटस के आरोपों पर उठे सवाल
आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिंह ने आरोप लगाया है कि बीजेपी ने दिल्ली चुनाव के नतीजों से पहले ‘ऑपरेशन लोटस’ शुरू कर दिया है। उनका कहना है कि पार्टी के सात विधायकों को 15-15 करोड़ रुपये की पेशकश के फोन आने लगे हैं। इस आरोप ने चुनावी माहौल को और भी गरम कर दिया है।
संजय सिंह ने दावा किया कि बीजेपी द्वारा किए गए ये ऑफर सत्ताधारी पार्टी के नेताओं को तोड़ने के उद्देश्य से दिए जा रहे हैं। उन्होंने बताया कि पार्टी के विधायकों को मंत्री बनाने का लालच दिया जा रहा है।
केजरीवाल ने एग्जिट पोल पर उठाए सवाल
अरविंद केजरीवाल ने चुनावी एग्जिट पोल्स पर भी गंभीर सवाल उठाए हैं। कुछ एग्जिट पोल्स में यह दावा किया गया है कि बीजेपी को 55 से अधिक सीटें मिल सकती हैं। केजरीवाल ने कहा कि यदि बीजेपी के पास इतनी बड़ी संख्या में सीटें आ रही हैं, तो फिर उन्हें आम आदमी पार्टी के उम्मीदवारों को फोन करने की आवश्यकता क्यों पड़ी?
उन्होंने आरोप लगाया कि यह एग्जिट पोल्स पूरी तरह से फर्जी हैं और इन्हें जान-बूझकर इस तरह से प्रस्तुत किया जा रहा है ताकि उम्मीदवारों के मनोबल को तोड़ा जा सके। केजरीवाल ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X (पूर्व में ट्विटर) पर भी यह मुद्दा उठाया और कहा कि अगर एग्जिट पोल्स सही हैं, तो फिर उन्हें इतना बड़ा ऑफर देने की क्या जरूरत थी।
सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम
दिल्ली चुनाव की मतगणना को लेकर चुनाव आयोग और प्रशासन पूरी तरह से सतर्क है। राजधानी के विभिन्न हिस्सों में सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं। इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीनों (EVM) को सुरक्षित तरीके से स्ट्रांग रूम में रखा गया है और वहां 24 घंटे तीन स्तरों की सुरक्षा व्यवस्था की गई है।
कुल 70 स्ट्रांग रूम राजधानी के 19 अलग-अलग स्थानों पर बनाए गए हैं, ताकि हर विधानसभा क्षेत्र के वोटों की गिनती को सुरक्षित और पारदर्शी तरीके से किया जा सके। चुनाव आयोग ने सभी जरूरी सुरक्षा प्रोटोकॉल का पालन करते हुए इन स्ट्रांग रूमों की सुरक्षा सुनिश्चित की है, ताकि कोई गड़बड़ी न हो और मतगणना प्रक्रिया में किसी प्रकार की दखलअंदाजी न हो।