स्पेशल डेस्क : (CNAP) अगर आप फेक कॉल्स से परेशान हो गए हैं, तो आपको इस समस्या से जल्द छुटकारा मिलने वाला है। (Troubled by fake calls) सरकार इस ओर जल्द ही अहम कदम उठाने जा रही है। इस सुविधा के शुरू होने पर अक्सर आने वाली अनचाही कॉल से छुटकारा पाने में काफी मदद मिलेगी। सीएनएपी सुविधा चालू होने पर ग्राहक अपने फोन की स्क्रीन पर कॉलर का नाम देख पाएगा।
टेलीकॉम रेगुलेटरी अथॉरिटी ऑफ इंडिया ने सिफारिशें जारी की है कि कॉल करने वाले शख्स का नाम स्क्रीन पर दिखाया जाए। TRAI ने शुक्रवार को आधिकारिक रूप से जारी की गई रिकमेंडेशंस में कहा कि स्क्रीन पर नाम दर्शाने वाली सर्विस कॉलर नेम प्रजेंटेशन (CNAP) को लागू किया जाना चाहिए।
TRAI ने क्या कहा?
सीएनएपी सुविधा चालू होने पर ग्राहक अपने फोन की स्क्रीन पर कॉलर का नाम देख पाएगा। ट्राई ने कहा कि सरकार को एक तय तारीख के बाद भारत में बेचे जाने वाले सभी फोन में सीएनएपी सुविधा उपलब्ध कराने के लिए दूरसंचार कंपनियों को उपयुक्त निर्देश जारी करना चाहिए। मोबाइल फोन कनेक्शन लेते समय भरे जाने वाले ग्राहक आवेदन पत्र (सीएएफ) में दिए गए नाम एवं पहचान डिटेल्स का इस्तेमाल सीएनएपी सेवा के दौरान किया जा सकता है।
क्या है CNAP
CNAP एक सप्लिमेंटरी सर्विस है, जो कॉलर के नाम को फोन की स्क्रीन पर प्रदर्शित करती है। इस समय थर्ड पार्टी ऐप्स जैसे कि Truecaller और Bharat Caller ID & Anti Spam भी कॉलिंग पार्टी नेम आइडेंटिफिकेशन (CPNI) सुविधा प्रदान करते हैं। थर्ड पार्टी ऐप्स की यह सर्विस क्राउड सोर्सड डेटा पर आधारित होता है, जो कि भरोसेमंद नहीं है।
ट्राई ने CNAP की सिफारिशें यूजर के KYC डॉक्यूमेंट में दर्ज नाम के आधार पर की हैं, ताकि सही कॉलर की पहचान हो सके। CNAP पर TRAI का परामर्श पत्र नवंबर 2022 में जारी किया गया था। इस सर्विस के जरिए लोगों को अनचाही कॉल से हमेशा के लिए छुट्टी मिल सकती है। स्पैम नंबरों की पहचान कर आप उन्हें ब्लॉक कर सकते हैं।
संवेदनशील व्यक्तियों को बाहर करें
ट्राई की सिफारिशों में टेलीकॉम यूजर्स के लिए किसी अन्य को कॉल करने पर पहचाने जाने से बचने का प्रावधान शामिल नहीं है। हालांकि, इसमें यह भी सुझाव दिया गया है कि दूरसंचार विभाग अदालत के आदेश के अनुसार “गवाहों/संवेदनशील व्यक्तियों” को बाहर कर दे। दूरसंचार नियामक इन सिफारिशों पर सरकार दिशा-निर्देश जारी कर सकती है।
इसके बाद CNAP फीचर को भारत में बेचे जाने वाले सभी मोबाइल डिवाइसेज के लिए उपलब्ध कराया जाएगा। ट्राई के सिफारिशों को स्वीकृति मिलने के बाद सरकार एक कट-ऑफ डेट जारी कर सकती है।
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