नई दिल्ली : दिल्ली इंटरनेशनल एयरपोर्ट लिमिटेड (डीआईएएल), जो जीएमआर एयरो के नेतृत्व में इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे का संचालन करता है, ने यात्रियों के लिए एक अनूठी पहल “डीईएल वाइब्स” शुरू की है। यह भारत के किसी भी हवाई अड्डे पर अपनी तरह का पहला सांस्कृतिक अनुभव मंच है, जो यात्रा को सांस्कृतिक रूप से समृद्ध बनाने का लक्ष्य रखता है।
डीईएल वाइब्स यात्रियों को भारत की शास्त्रीय संगीत, नृत्य और हस्तकला की जीवंत झलक प्रदान करता है। डीआईएएल के सीईओ श्री विदेह कुमार जयपुरियार ने कहा, “डीईएल वाइब्स के माध्यम से हम प्रत्येक यात्री को हवाई अड्डे पर ही भारत की सांस्कृतिक समृद्धि का अनुभव कराना चाहते हैं। यह पहल न केवल भारत के सबसे व्यस्त हवाई अड्डे के संचालन तक सीमित है, बल्कि यात्रियों के लिए अविस्मरणीय अनुभव भी प्रदान करती है।”
डीईएल वाइब्स तीन मुख्य आधारों – संगीत, नृत्य और क्यूरेटेड अनुभवों पर केंद्रित है। इसमें कथक और भरतनाट्यम जैसे शास्त्रीय नृत्यों की प्रस्तुतियां, तार शहनाई, संतूर, सितार और सारंगी जैसे पारंपरिक वाद्ययंत्रों पर संगीतमय प्रदर्शन और इंटरैक्टिव हस्तकला कार्यशालाएं शामिल हैं। यह पहल पहली बार यात्रा करने वालों के लिए तनावमुक्त और आनंददायक माहौल प्रदान करती है।
कार्यक्रम प्रतिदिन सुबह 10 बजे से शाम 6 बजे तक आयोजित किए जाते हैं, जिसमें 10-15 मिनट के शास्त्रीय नृत्य, 20-25 मिनट का लाइव संगीत, 15 मिनट के हस्तकला अनुभव और मेजबानों द्वारा संचालित आकर्षक सत्र शामिल हैं। डीईएल वाइब्स दिल्ली हवाई अड्डे की यात्री संतुष्टि, कलाकार समर्थन और राष्ट्रीय सांस्कृतिक गौरव के प्रति प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
हवाई अड्डे ने पहले भी टर्मिनल 3 पर बारह मुद्रा मूर्तियां, 12 फुट की सूर्य नमस्कार प्रतिमा और समकालीन कलाकारों की पेंटिंग्स और मूर्तियों के प्रदर्शन जैसे प्रयासों के माध्यम से भारतीय कला और संस्कृति को बढ़ावा दिया है।
Read Also: Parliament monsoon session : लाल गलियारे अब हरित क्षेत्र का रूप ले रहे हैं : पीएम मोदी