नई दिल्ली : भारतीय रेलवे ने विभागीय पदोन्नति परीक्षाओं में पारदर्शिता लाने और धांधली पर रोक लगाने के लिए बड़ा कदम उठाया है। रेलवे बोर्ड ने अब सभी लिमिटेड डिपार्टमेंटल कंपीटीटिव एग्जामिनेशन (LDCE) को टैबलेट बेस्ड टेस्ट (TBT) के रूप में आयोजित करने का निर्णय लिया है। परीक्षाएं अब जोन और मंडल स्तर पर रेलवे परिसर में ही होंगी, जिससे कर्मचारियों को सुविधा भी मिलेगी और प्रक्रिया अधिक पारदर्शी बनेगी।
पहले CBT के माध्यम से होती थी परीक्षा
भारतीय रेलवे में विभागीय पदोन्नति परीक्षाएं अब टैबलेट मोड पर आयोजित होंगी। यह फैसला रेलवे बोर्ड ने देशभर में परीक्षा प्रणाली में पारदर्शिता बढ़ाने और पहले हुई धांधलियों को रोकने के उद्देश्य से लिया है। पहले इन परीक्षाओं को केंद्रीयकृत कंप्यूटर बेस्ड टेस्ट (CBT) के माध्यम से आयोजित किया जाता था, लेकिन अब इसे जोन और मंडल स्तर पर टैबलेट पर कराने का निर्णय लिया गया है।
Railway Promotion : नई व्यवस्था के तहत नहीं जाना होगा अन्य परीक्षा केंद्र
नई व्यवस्था के अंतर्गत रेलकर्मी अब रेलवे परिसर में ही टैबलेट के जरिए परीक्षा देंगे। उन्हें किसी अन्य परीक्षा केंद्र पर जाने की आवश्यकता नहीं होगी, जिससे समय और संसाधनों की बचत होगी।
लागू करने की प्रक्रिया तेज
पूर्वोत्तर रेलवे में इस प्रक्रिया को लागू करने की तैयारियां तेज़ हो चुकी हैं। उप मुख्य कार्मिक अधिकारी (मुख्यालय) वीके द्विवेदी ने 2 जुलाई 2025 को लखनऊ, वाराणसी और इज्जतनगर मंडल के डीआरएम और अन्य अधिकारियों को पत्र जारी किया है। इस पत्र में रिक्तियों का मूल्यांकन और रोस्टर की जांच के लिए तिथियां भी निर्धारित कर दी गई हैं।जूनियर इंजीनियर के लिए अधिसूचना 4 अगस्त तक।तकनीशियन के लिए 20 अगस्त तक। सहायक स्टेशन मास्टर और गार्ड/ट्रेन मैनेजर के लिए 30 अगस्त तक और अन्य प्रशासनिक पदों के लिए अधिसूचना 15 सितंबर तक जारी की जाएगी।
अधिकारियों को दिया गया निर्देश
मुख्यालय, मंडल और कारखानों के संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि वे समय रहते रिक्तियों का मूल्यांकन कर प्रमुख कार्यालय को रिपोर्ट सौंपें। परीक्षा संचालन एजेंसी (ECA) के साथ समन्वय स्थापित कर परीक्षाएं कराई जाएंगी।
Railway Promotion : धांधली के बाद लिया गया बड़ा कदम
पंडित दीनदयाल उपाध्याय रेल मंडल में हाल ही में लोको पायलट की विभागीय परीक्षा में धांधली के मामले सामने आने के बाद रेलवे बोर्ड ने 4 मार्च 2025 को देशभर में सभी विभागीय पदोन्नति परीक्षाएं रोक दी थीं। अब पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए टैबलेट मोड को अपनाया गया है।
कर्मचारी संगठनों ने किया स्वागत
ऑल इंडिया रेलवे मेंस फेडरेशन (AIRF) के सहायक महामंत्री और नरमू के महामंत्री केएल गुप्ता ने रेलवे बोर्ड के इस फैसले का स्वागत किया है। उन्होंने कहा कि टैबलेट मोड परीक्षा से ट्रैकमैन, गेटमैन, खलासी जैसे चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारी भी एलडीसीई के जरिए योग्यतानुसार जूनियर इंजीनियर, स्टेशन मास्टर, तकनीशियन आदि बन सकेंगे।AIRF की ओर से पहले ही रेलवे बोर्ड को पत्र भेजकर एलडीसीई के माध्यम से पदोन्नति प्रक्रिया जल्द शुरू करने की मांग की गई थी।
Railway Promotion : नई व्यवस्था से दिखेगा बदलाव
भारतीय रेलवे की यह नई व्यवस्था न केवल तकनीकी रूप से उन्नत है, बल्कि इसमें पारदर्शिता, निष्पक्षता और जवाबदेही को प्राथमिकता दी गई है। टैबलेट मोड की परीक्षा प्रणाली से न सिर्फ धांधली रुकेगी, बल्कि योग्य कर्मचारियों को समय पर पदोन्नति पाने का अवसर भी मिलेगा। यह फैसला रेलवे कर्मचारियों के मनोबल को बढ़ाने वाला साबित होगा।