स्पेशल डेस्क: Vastu Shaastra: क्या आप जानते हैं कि घर में सुख समृद्धि लाने के लिए Vastu Shaastra को समझना जरूरी है? हमारा घर हमारी पहचान का सबसे महत्वपूर्ण हिस्सा होता है, जिसमें हम अपने सभी रिश्तेदारों के साथ सुखद और समृद्धिपूर्ण जीवन बिताते हैं।
घर का माहौल हमारी भावनाओं, ऊर्जा, और स्वास्थ्य को प्रभावित कर सकता है, और यहां वास्तुशास्त्र का महत्व सामने आता है।
Vastu Shaastra, जो सदियों से हमारे समुद्रों से लेकर आकाश तक सभी क्षेत्रों का अध्ययन करता आया है, हमें बताता है कि कैसे हम अपने घर को सकारात्मकता से भर सकते हैं जिससे कि हमारा हर दिन खुशियों भरा हो।
Vastu Shaastra एक प्राचीन विज्ञान है जो आपके घर को सुख, समृद्धि, और शांति के स्थान में बदलने की कला को सिखाता है।
Vastu Shaastra के सिद्धांतों के अनुसार, विशेष दिशाएं और स्थान हमारे जीवन को प्रभावित कर सकती हैं। इसलिए, इस लेख में हम आपको बताएंगे कुछ ऐसे वास्तु Vastu Tips के बारे में जो आपके घर को सुख, समृद्धि, और शांति की दिशा में मदद कर सकती हैं। ये टिप्स आपको सिर्फ एक सुंदर और स्वच्छ घर की नहीं, बल्कि सकारात्मक ऊर्जा से भरी हुई जगह मिलेगी जो आपके जीवन को नई ऊचाइयों तक पहुंचा सकती है।
Vastu Shaastra का महत्व
Vastu Shaastra, जिसे फेंगशुई भी कहा जाता है, एक विज्ञान है जो हमारे आस-पास के वातावरण को सुधारने के लिए दिशाएं और स्थानों का अध्ययन करता है।
इसका मूल उद्देश्य यह है कि हम अपने घर को पॉजिटिव एनर्जी से भरें ताकि वह हमारे जीवन को सकारात्मक दिशा में प्रवृत्ति कर सके। Vastu Shaastra में कई सिद्धांत हैं जो आपके घर को शुद्धि, शांति, और समृद्धि की ऊर्जा से भरने के लिए सुझाव देते हैं।
Vastu Shaastra:Vastu Tips
– दरवाजे की सही दिशा: घर के प्रमुख दरवाजे की सही दिशा बहुत महत्वपूर्ण है। दरवाजा उत्तर, पश्चिम, या पूर्व की ओर होना चाहिए। इससे घर में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है।
-पौधों का महत्व: अपने घर में हरियाली को बढ़ावा देना भी Vastu Shaastra के अनुसार महत्वपूर्ण है। घर में पौधे, फूल, और पेड़ों को रखना आपके घर को शुद्ध और ऊर्जावान बनाए रख सकता है। यह न केवल आपके घर को सुंदर बनाए रखेगा, बल्कि आपको भी शांति और सकारात्मक ऊर्जा प्रदान करेगा।
– वास्तु सुझावों का पालन:Vastu Shaastra के अनुसार, घर के विभिन्न क्षेत्रों में विशेष वस्तुओं का सही स्थान और प्रवृत्ति से घर में सकारात्मकता बनी रहती है।
– प्रवेश द्वार पर खुला न छोड़े शू स्टैंड: अपने घर के प्रवेश द्वार पर शू स्टैंड खुला न रखना अत्यंत महत्वपूर्ण है। यह केवल नकारात्मक ऊर्जा को आकर्षित करता है, जिससे परिणामस्वरूप घर में सद्भाव का असंतुलन हो सकता है। शू रैक लगाने के लिए सर्वोत्तम दिशा पश्चिम या दक्षिण-पश्चिम कोना है, जो आपके घर को सकारात्मक ऊर्जा से भर सकता है।
– कंट्रोल करें उच्चारण और ध्यान: मन्त्रों, प्रार्थनाओं, और ध्यान के माध्यम से आप अपने घर को पॉजिटिव एनर्जी से भर सकते हैं। ध्यान से घर का सामंजस्य और शांति में बनी रहती है।
– दीवार पर इस दिशा में लगाएं घड़ी: Vastu Shaastra के अनुसार, घर की दीवारों पर रखी घड़ियों को हमेशा चालू रखना एक शुभ सूचना होती है। इन्हें घर की पूर्व, पश्चिम, और उत्तरी दीवारों पर स्थापित करना चाहिए।
इस दिशा में दीवार पर घड़ी रखने से नए अवसर प्राप्त करने में मदद हो सकती है और समस्याओं के बिना काम करने में सहायक हो सकती है। यह ध्यान रखें कि हरा रंग की दीवार घड़ियों का उपयोग सावधानीपूर्वक करें, क्योंकि यह व्यक्ति से अवसर छीन सकता है।
– रंगों का महत्व: Vastu Shaastra में रंगों का भी विशेष महत्व है। सोने के पीले रंग सकारात्मकता और समृद्धि की ऊर्जा को बढ़ाते हैं।
– इस दिशा में दीवारों के साथ रखें भारी फर्नीचर: Vastu Shaastra के अनुसार, दक्षिण और पश्चिम दिशा की दीवारों के साथ हेवी फर्नीचर रखना शुभ माना जाता है, जबकि उत्तर और पूर्व की दीवारों के समीप हल्के फर्नीचर को स्थापित करना चाहिए।
लकड़ी के फर्नीचर का उपयोग करना अच्छा रहता है क्योंकि वे प्लास्टिक फर्नीचर की तरह हानिकारक गैसों का उत्सर्जन नहीं करते हैं। धातु से बने फर्नीचर से भी बचना चाहिए, क्योंकि ये हमारे चारों ओर एक चुम्बकीय क्षेत्र बना सकते हैं, जिससे नकारात्मकता में वृद्धि हो सकती है।
– धन क्षेत्र का ध्यान रखें: पूजा स्थल के पश्चिम में या उत्तर में, धन क्षेत्र को सकारात्मक ऊर्जा से भरने के लिए ठीक से इंटीअर करें।
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