रांची : झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के नेतृत्व में राज्य सरकार की पहली कैबिनेट बैठक शुक्रवार को आयोजित की जाएगी। यह बैठक राज्य सरकार के गठन के बाद औपचारिक रूप से पहली बार आयोजित हो रही है, जिसमें मंत्रिमंडल के सभी सदस्यों की मौजूदगी में कई महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा और निर्णय लिया जाएगा।
बैठक का आयोजन दोपहर 3 बजे झारखंड मंत्रालय (प्रोजेक्ट भवन) स्थित मंत्रिपरिषद कक्ष में होगा। इस बैठक में राज्य के विभिन्न विभागों से प्राप्त प्रस्तावों पर विचार किया जाएगा और सरकार की प्राथमिकताओं के आधार पर कई अहम फैसले हो सकते हैं। मंत्रिमंडल सचिवालय और निगरानी विभाग द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार, इस बैठक में कर्मचारियों के महंगाई भत्ते के साथ-साथ नियुक्तियों और अन्य प्रशासनिक मामलों पर भी निर्णय लिया जा सकता है।
कैबिनेट बैठक में चर्चा के प्रमुख मुद्दे
हेमंत सोरेन सरकार की पहली बैठक में नियुक्तियों के अलावा कर्मचारियों के महंगाई भत्ते, विभिन्न सरकारी योजनाओं और राज्य के विकास के लिए जरूरी कदमों पर चर्चा की जाएगी। इससे पहले सरकार की ओर से सभी विभागों से प्रस्ताव मांगे गए थे, जिन पर बैठक में विचार किया जाएगा।
इसके अलावा मंत्रियों के लिए विभागों के आवंटन, बजट प्रस्तावों और राज्य के आर्थिक प्रबंधन के संबंध में भी महत्वपूर्ण फैसले हो सकते हैं। इस बैठक को लेकर राजनीतिक और प्रशासनिक हलकों में खासा उत्साह है क्योंकि यह बैठक राज्य सरकार के कार्यकाल के पहले कदमों की दिशा तय करेगी।
गौरतलब है कि गुरुवार को राज्य के 11 मंत्रियों ने पद और गोपनीयता की शपथ ली थी। इनमें झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) के सुदिव्य कुमार सोनू, चमरा लिंडा, हफीजुल हसन, रामदास सोरेन, दीपक बिरुवा और योगेंद्र प्रसाद शामिल हैं। कांग्रेस से राधाकृष्ण किशोर, इरफान अंसारी, दीपिका पांडेय सिंह और शिल्पी नेहा तिर्की ने भी शपथ ली। इनके अलावा राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) से संजय प्रसाद यादव ने मंत्री पद की शपथ ली। वे गोड्डा से तीसरी बार विधायक बने हैं।
संथाल परगना से बने अधिक मंत्री
हेमंत सोरेन के मंत्रिमंडल में संथाल परगना प्रमंडल से सबसे अधिक चार मंत्री बने हैं। यह प्रमंडल मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन का गृह क्षेत्र भी है, और इसके द्वारा राज्य में राजनीतिक संतुलन बनाए रखने की कोशिश की जा रही है। अन्य प्रमंडलों की बात करें तो कोल्हान प्रमंडल, उत्तरी छोटानागपुर और दक्षिणी छोटानागपुर प्रमंडल से दो-दो मंत्री बनाए गए हैं, जबकि पलामू प्रमंडल से एक मंत्री का चयन किया गया है।
मंत्रिमंडल का गठन और सरकार की प्राथमिकताएं
हेमंत सोरेन सरकार का यह मंत्रिमंडल विभिन्न समाजिक, राजनीतिक और क्षेत्रीय प्रतिनिधित्व को ध्यान में रखते हुए गठित किया गया है। संथाल परगना प्रमंडल से अधिक मंत्रियों का चयन यह दर्शाता है कि मुख्यमंत्री सोरेन इस क्षेत्र में अपने जनाधार को मजबूत करने की दिशा में काम कर रहे हैं।
राज्य के विभिन्न हिस्सों से मंत्री बनाए जाने से सरकार के कार्यों और योजनाओं को अधिक व्यापक और समावेशी बनाने का प्रयास किया गया है। सरकार के सामने अगले कुछ वर्षों में राज्य के विकास, रोजगार, शिक्षा, स्वास्थ्य, और बुनियादी सुविधाओं में सुधार के लिए कई चुनौतियां होंगी, जिनका समाधान मंत्रिमंडल की बैठकों में उठाए गए मुद्दों पर आधारित होगा।
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