जमशेदपुर : झारखंड के सरकारी अस्पतालों में ड्रेस कोड लागू कराने को लेकर हाल ही में स्वास्थ्य विभाग के अपर मुख्य सचिव अरुण कुमार सिंह ने एक निर्देश जारी किया था। इसका पत्र एमजीएम अस्पताल प्रबंधन व सिविल सर्जन कार्यालय को भी मिला था। पत्र के माध्यम से सभी कर्मचारियों के लिए अलग-अलग ड्रेस कोड तय किये गए थे और उसे कोल्हान के सभी सरकारी अस्पतालों में लागू कराया जाना था।
इसमें कोल्हान के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल एमजीएम सहित तीनों जिला के सदर अस्पताल, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी), प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र (पीएचसी), उप-स्वास्थ्य केंद्रों शामिल है। पर, हकीकत यह है कि इसका अनुपालन कहीं भी नहीं हो रहा है, जो गंभीर विषय है। स्वास्थ्य सचिव के आदेश को ठेंगे पर रखा गया है।
दरअसल, अस्पतालों में छह तरह के सेवाएं देने वाले कर्मचारियों के लिए अलग-अलग रंगों में ड्रेस कोड तैयार किए गए हैं। इसमें सबसे ज्यादा चर्चित गांधी टोपी था, जो पहली बार इन कर्मचारियों के ड्रेस कोड में शामिल किया गया है। अस्पताल में तैनात कर्मियों को कहना है कि उन्हें न तो अस्पताल प्रबंधन की तरफ से गांधी टोपी मिला और न ही संबंधित एजेंसी के द्वारा दिया गया है। ऐसे में वे कहां से पहनेंगे।
वहीं, एमजीएम प्रबंधन का कहना है कि जल्द ही कर्मचारियों को गांधी टोपी उपलब्ध कराई जाएगी। इसके लिए संबंधित एजेंसी को भी निर्देश दिया गया है। महिला व पुरुषों के लिए अलग-अलग ड्रेस कोड बनाया गया है। स्वास्थ्य सचिव के पत्र में इसकी निगरानी के लिए नोडल पदाधिकारी भी नियुक्ति की जाने की बात कहीं गई थी लेकिन वह भी नहीं हो सका है।
पुरुषों के लिए ये ड्रेस कोड लागू होना है
– हाउसकीपिंग स्टाफ : ब्लू रंग का शर्ट, पैंट, कैनवास के जूते व गांधी टोपी
– सिक्यूरिटी स्टाफ : कथा रंग का शर्ट, पैंट, बेरेट टोपी, काला जूता
– जनरल स्टाफ : ग्रे (स्लेटी) रंग का शर्ट, पैंट, कैनवास के जूते व गांधी टोपी
– पारा मेडिकल एवं टेक्नीशियन स्टाफ : पीला शर्ट, पैंट, कैनवास के जूते, गांधी टोपी व एप्रन
– आहार स्टाफ : हरा रंग का पैंट, शर्ट, कैनवास के जूते व गांधी टोपी
– लांड्री स्टाफ : सफेद रंग पैंट, शर्ट, कैनवास के जूते व गांधी टोपी