घाटशिला : मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने बुधवार को झामुमो प्रत्याशी रामदास सोरेन के नामांकन सभा में कहा कि कोरोना काल के दौरान राज्य की माता-बहनों ने दाल-भात योजना के जरिए गांव-गांव के लोगों को भूखा नहीं मरने दिया। उस कठिन समय में सरकार ने तय किया कि इन महिलाओं को सम्मानित किया जाएगा, और इसे मुख्यमंत्री सम्मान योजना के माध्यम से पूरा किया गया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री निर्धारित समय से 2 घंटे 25 मिनट की देरी से सभा में पहुंचे।
अपने संबोधन में उन्होंने कहा, “झारखंड राज्य हमें बड़ी कुर्बानी के बाद मिला है, लेकिन इसका अधिकांश समय बीजेपी ने सत्ता में रहकर भोगा। हमें यह राज्य विषम परिस्थितियों में मिला, और उसमें भी शुरुआती दो साल कोरोना महामारी के कारण निकल गए। इसके बावजूद, हमने बाकी तीन सालों में विकास योजनाओं की झड़ी लगा दी है।” उन्होंने दावा किया कि विपक्ष इन योजनाओं की लंबी सूची के बोझ तले दबकर खत्म हो रहा है।
मुख्यमंत्री सोरेन ने यह भी घोषणा की कि मुख्यमंत्री सम्मान योजना के तहत दी जाने वाली राशि को दिसंबर महीने से बढ़ाकर 2500 रुपये कर दिया गया है। उन्होंने कहा, “यदि हमारी सरकार फिर से बनती है, तो हम प्रत्येक गरीब परिवार की माता-बहनों को एक साल में 1.5 लाख रुपये की मदद देंगे, ताकि उन्हें किसी महाजन के पास जाने की जरूरत न पड़े।”
मुख्यमंत्री ने बीजेपी पर निशाना साधते हुए कहा कि उनकी पार्टी ने झामुमो के कुछ नेताओं को बाजार की तरह पैसे के बल पर खरीद लिया है, लेकिन इससे झामुमो कमजोर नहीं हुआ। उन्होंने चंपई सोरेन का नाम लिए बिना कहा कि जो नेता बिकने को तैयार नहीं हैं, उन्हें सीबीआई और ईडी का डर दिखाया जा रहा है।
मुख्यमंत्री ने अपने संबोधन में जल, जंगल और जमीन के मुद्दों पर भी बात की और आरोप लगाया कि विपक्ष ने जिनका हक है, उन्हें जमीन दलाल बताकर जेल में डालने का प्रयास किया है। उन्होंने जनता से अपील की कि 13 नवंबर को होने वाले मतदान में महागठबंधन के प्रत्याशी रामदास सोरेन को विजयी बनाकर झामुमो की सरकार फिर से बनाई जाए।
भाजपा के शासन में आदिवासियों का सम्मान खतरे में: रामदास सोरेन
जल संसाधन मंत्री और झामुमो प्रत्याशी रामदास सोरेन ने सभा को संबोधित करते हुए कहा कि भाजपा के शासन में झारखंड के आदिवासियों को उचित मान-सम्मान नहीं मिल रहा है। उन्होंने असम राज्य के आदिवासियों का उदाहरण देते हुए कहा कि वहां आदिवासियों को “टी ट्राइबल” कहा जाता है और वे बीजेपी का समर्थन करते हैं। यदि झारखंड में भी बीजेपी की सरकार बनती है, तो यहां के आदिवासियों का भी सम्मान खत्म हो जाएगा।
उन्होंने लोगों से अपील की कि वे किसी भी बहकावे में न आएं और महागठबंधन की सरकार को समर्थन दें, ताकि आदिवासी, मूलवासी और अल्पसंख्यक वर्ग को पूर्ण सम्मान मिल सके।
हेमंत के नेतृत्व में झारखंड का असली विकास होगा: लक्ष्मण टुडू
पूर्व विधायक लक्ष्मण टुडू ने अपने संबोधन में कहा कि झारखंड का सही विकास हेमंत सोरेन के नेतृत्व में ही संभव है। उन्होंने कहा, “झामुमो ने गरीब, महिलाएं, किसान और छात्रों के लिए जो काम किया है, वह पहले कभी नहीं हुआ। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन जो कहते हैं, उसे पूरा करने में विश्वास रखते हैं। आने वाले समय में महिलाओं के खाते में 2500 रुपये सम्मान राशि के रूप में भेजे जाएंगे।” नामांकन सभा में पूर्व विधायक लक्ष्मण टुडू, कुणाल षाड़ंगी और 20 सूत्री जिला उपाध्यक्ष मोहन कर्मकार समेत कई नेता उपस्थित थे। सभी ने मुख्यमंत्री की योजनाओं की सराहना की और आगामी चुनावों में महागठबंधन को समर्थन देने की अपील की।