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मणिपुर में सुरक्षाबलों पर फायरिंग : थाने से हथियार लूटने की कोशिश, बीजेपी ऑफिस, विधायक और महिला नेता के घर पर हमला

by Rakesh Pandey
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इंफाल:  मणिपुर में 3 मई से हिंसा जारी है. शुक्रवार रात 5 बड़ी अलग-अलग घटनाएं हुईं. इंफाल पश्चिम के इरिंगबाम थाने पर सैकड़ों लोगों की भीड़ ने हथियार लूटने की कोशिश की, हालांकि सुरक्षाबलों ने उन्हें खदेड़ दिया. इस दौरान भीड़ की ओर से फायरिंग भी की गयी. दूसरी घटना में भीड़ ने भाजपा के एक विधायक विश्वजीत के घर में आग लगाने की कोशिश की. इसे मणिपुर रैपिड एक्शन फोर्स की टीम ने नाकाम कर दिया. तीसरी घटना खोंगमन और सिंजेमाई की है. दोनों जगहों पर भीड़ ने बीजेपी ऑफिस पर हमला किया. हालांकि सेना के जवानों ने भीड़ को भगा दिया. चौथी घटना राजधानी इंफाल के पोरमपेट की है. भीड़ ने शुक्रवार देर रात बीजेपी की महिला अध्यक्ष शारदा देवी के घर में तोड़फोड़ की कोशिश की. सुरक्षाबलों ने युवकों को खदेड़ दिया. पांचवी घटना राजधानी इंफाल के पैलेस कंपाउंड की है. यहां करीब 1 हजार लोगों की भीड़ कंपाउंड को जलाने के लिए आई, लेकिन रैफ के जवानों ने आंसू गैस के गोले दागे और रबर की गोलियां चलाईं, जिसके बाद भीड़ वहां से हटी.

 

पुलिस ने बताया कि शुक्रवार देर रात बिष्णुपुर जिले के क्वाकटा और चुराचंदपुर जिले के कंगवई ऑटोमेटिक हथियारों से गोलियां चली हैं. सेना, असम राइफल्स और मणिपुर रैपिड एक्शन फोर्स ने राजधानी इंफाल में आधी रात तक संयुक्त मार्च किया.

रिटायर्ड लेफ्टिनेंट बोले- हालात सीरिया जैसे, पूर्व आर्मी चीफ ने भी चिंता जताई हिंसा के बीच पूर्व आर्मी चीफ वीपी मलिक ने पीएम मोदी, गृहमंत्री अमित शाह और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह से दखल देने की अपील की है. दरअसल, रिटायर्ड लेफ्टिनेंट जनरल एल निशिकांत सिंह ने गुरुवार सुबह ट्वीट करके राज्य के हालात सीरिया-लेबनान जैसे बताये थे. इसी को लेकर वीपी मलिक ने ऐसा बयान दिया है. लेफ्टिनेंट जनरल ने लिखा- ‘मैं मणिपुर का एक साधारण भारतीय हूं, जो सेवानिवृत्त जीवन जी रहा है. राज्य अब स्टेटलेस है. जिंदगी और संपत्ति को कोई भी, कभी भी खत्म कर सकता है. जैसे लीबिया, लेबनान, नाइजीरिया, सीरिया में होता है. ऐसा लगता है कि मणिपुर को अपनी ही आग में उबलने के लिए छोड़ दिया गया है. क्या कोई सुन रहा है?. इस पर चिंता जाहिर करते हुए वीपी मलिक ने कहा कि एक सैन्य अधिकारी का ऐसा कहना बहुत दुख की बात है. राज्य के हालात पर सरकार के टॉप लेवल को तुरंत ध्यान देना चाहिए.

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