नई दिल्ली : साउथ वेस्ट दिल्ली की साइबर पुलिस ने जोधपुर-बालोतरा के कुख्यात साइबर ठग गिरोह के पांच सदस्यों को गिरफ्तार कर 17.31 लाख की ठगी के मामले को 24 घंटे में सुलझा लिया है। गिरफ्तार आरोपियों में सरगना फार्मेसी शॉप चलाने वाले रविंद्र विश्नोई, महिपाल, मोहम्मद यासीन, रोहित निम्बावत उर्फ रॉनी और यश वैष्णव शामिल हैं।
पुलिस ने इनके पास से 10 हाई-एंड मोबाइल, 12 प्रॉक्सी सिम, 7 म्यूल बैंक खाते, 7 डेबिट कार्ड, 2 जियो राउटर और 3 संदिग्ध आईडी बरामद कीं। जांच में 42 लाख का मनी ट्रेल उजागर हुआ। टेलीग्राम के जरिए करते थे ठगी
12 जून को मुनिरका निवासी अमित गोयल ने एनसीआरपी पोर्टल पर 17.31 लाख की ठगी की शिकायत दर्ज की थी। उन्हें एक टेलीग्राम ग्रुप में जोड़ा गया, जहां होटल रिव्यू टास्क के लिए 50 प्रति टास्क का लालच दिया गया।
शुरुआती छोटे भुगतान के बाद, उन्हें एक वेबसाइट पर रजिस्टर कर 15,000 से 1.5 लाख तक निवेश करने को कहा गया, जिसमें 30-40% रिटर्न का वादा था। बाद में तकनीकी खराबी और खाता फ्रीज का बहाना बनाकर 17.31 लाख ठग लिए गए।
डीसीपी अमित गोयल के निर्देशन में इंस्पेक्टर प्रवेश कौशिक, एसीपी विजय कुमार और विशेष टीम ने तकनीकी निगरानी और स्थानीय सूत्रों से मोहम्मद यासीन को बालोतरा से पकड़ा। उसने रोहित और यश के नाम उजागर किए, जिन्हें जोधपुर और जयपुर से गिरफ्तार किया गया।
सरगना रविंद्र विश्नोई को पालघर, महाराष्ट्र और महिपाल को जोधपुर से पकड़ा गया। रविंद्र म्यूल खातों को यूएसडीटी के जरिए चीनी गिरोहों को ट्रांसफर करता था। जांच में सात अन्य एनसीआरपी शिकायतें भी इन खातों से जुड़ी मिली हैं।