रांची/जमशेदपुर :झारखंड में सीजीएल (संयुक्त स्नातक स्तर) परीक्षा को लेकर राजनीतिक तापमान एक बार फिर बढ़ गया है। भारी विरोध के बावजूद, झारखंड कर्मचारी चयन आयोग (जेएसएससी) ने शुक्रवार को फाइनल आंसर की जारी कर दी। इस निर्णय के बाद भाजपा ने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को चेतावनी देते हुए कहा कि उनकी यह हड़बड़ी राज्य सरकार के लिए गंभीर परिणाम ला सकती है।
भाजपा की कड़ी प्रतिक्रिया
भाजपा के नेता प्रतिपक्ष अमर बाउरी ने इस मामले पर अपनी तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त की। उन्होंने चेताया कि झारखंड सरकार की यह जल्दबाजी उनके लिए बहुत महंगी साबित हो सकती है। इसके साथ ही, बाउरी ने संकेत दिया कि यदि भाजपा राज्य में सत्ता में आई, तो इस पूरे मामले की सीबीआई जांच कराई जाएगी। शुक्रवार को जेएसएससी ने उम्मीदवारों की फाइनल आंसर की को अपने आधिकारिक वेबसाइट jssc.nic.in पर जारी किया। इसके साथ ही, अब परिणाम की भी जल्द ही घोषणा की जाएगी।
परिणाम की उम्मीदें और परीक्षा का विवाद
विशेषज्ञों का अनुमान है कि कुछ ही दिनों में परीक्षा परिणाम की घोषणा की जा सकती है, हालाँकि, इस संबंध में अभी तक कोई आधिकारिक जानकारी सामने नहीं आई है। वहीं, झारखंड सीजीएल परीक्षा को रद्द करने की मांग भी जोर पकड़ रही है। इसके बावजूद, जेएसएससी परीक्षा परिणाम की दिशा में अपने तय समय सारणी के अनुसार आगे बढ़ रही है। भाजपा ने इस मुद्दे पर शुरू से ही आक्रामक रुख अपनाया है और अब हेमंत सोरेन को निशाने पर ले लिया है।
नेता प्रतिपक्ष अमर बाउरी ने कहा, “हेमंत जी, आपकी यह हड़बड़ी भारी पड़ सकती है! युवा विरोधी हेमंत सरकार की निकम्मेपन की पराकाष्ठा देखिए, अनेकों अनियमितताओं के बीच जेएसएससी-सीजीएल परीक्षा की फाइनल ANSWER KEY जारी कर दी गई है।” उन्होंने युवाओं को आश्वस्त करते हुए कहा कि झारखंड में भाजपा की सरकार बनेगी और सभी अनियमितताओं की सीबीआई जांच कराई जाएगी, जिससे दोषियों को सजा मिल सके।
परीक्षार्थियों में असंतोष
सीजीएल परीक्षा को लेकर अभ्यर्थियों में भी भारी नाराजगी देखने को मिल रही है। दरअसल, इस बार सरकार ने परीक्षा के दौरान कड़ी सुरक्षा बरती थी और इंटरनेट सेवा को भी बंद कर दिया गया था। इसके बावजूद, अभ्यर्थियों ने परीक्षा लीक होने के गंभीर आरोप लगाए हैं। इस मामले में राज्यपाल के निर्देश पर जांच की घोषणा की गई थी, लेकिन इसके बीच ही आयोग ने परिणाम जारी करने की प्रक्रिया को आगे बढ़ाया है।
बड़ा चुनावी मुद्दा बनाने की योजना
भाजपा का यह स्पष्ट संकेत है कि वह इस मुद्दे को बड़ा चुनावी मुद्दा बनाने की योजना बना रही है। भाजपा का कहना है कि यदि उनकी सरकार बनी, तो परीक्षा को रद्द भी किया जा सकता है। इस स्थिति में, झारखंड में सीजीएल परीक्षा का मामला न केवल एक महत्वपूर्ण मुद्दा बनता जा रहा है, बल्कि यह आने वाले चुनावों पर भी गहरा प्रभाव डाल सकता है।
परीक्षा बनी चुनावी राजनीतिक का नया चरण
झारखंड सीजीएल परीक्षा का यह विवाद विभिन्न राजनीतिक दलों के बीच तकरार का एक नया चरण बन चुका है। सरकार की कार्रवाई और भाजपा की प्रतिक्रिया ने एक बार फिर से यह सिद्ध कर दिया है कि चुनावी राजनीति में मुद्दे कितने महत्वपूर्ण होते हैं। आने वाले समय में यह देखना दिलचस्प होगा कि इस विवाद का अंतिम परिणाम क्या होगा और क्या यह झारखंड के राजनीतिक परिदृश्य को प्रभावित करेगा।
Read Also- मनी लॉन्ड्रिंग मामले में ED की बड़ी कार्रवाई, IAS संजीव हंस और पूर्व MLA गुलाब यादव गिरफ्तार