मॉस्को : रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने यूक्रेन और रूस के बीच चल रहे युद्ध को समाप्त करने के लिए विश्व के विभिन्न नेताओं के प्रयासों की सराहना की है। पुतिन ने विशेष रूप से अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को धन्यवाद दिया, जिन्होंने युद्धविराम की दिशा में ठोस प्रयास किए।
पुतिन की पहली सार्वजनिक टिप्पणी
रूसी राष्ट्रपति ने यूक्रेन के युद्धविराम प्रस्ताव पर अपनी पहली सार्वजनिक टिप्पणी बृहस्पतिवार को की। उन्होंने स्पष्ट किया कि रूस युद्धविराम पर चर्चा करने के लिए तैयार है, लेकिन इसके लिए शर्तें स्पष्ट होनी चाहिए। पुतिन ने यह भी कहा कि उनका देश अल्पकालिक युद्धविराम में रुचि नहीं रखता, बल्कि वे संघर्ष के कारणों का स्थायी समाधान चाहते हैं। एक रिपोर्ट के अनुसार, पुतिन ने जुलाई 2024 में ही कहा था कि रूस अल्पकालिक युद्धविराम में रुचि नहीं रखता, बल्कि इस संघर्ष के कारणों को हल करने के लिए तैयार है।
युद्धविराम का समर्थन और अंतर्राष्ट्रीय प्रयास
सऊदी अरब में आयोजित एक बैठक के बाद, जहां वाशिंगटन और यूक्रेन दोनों ने 30 दिन के अस्थायी युद्धविराम का समर्थन किया, पुतिन ने राष्ट्रपति ट्रंप और प्रधानमंत्री मोदी के प्रयासों की सराहना की। उन्होंने कहा, “इससे पहले कि मैं युद्धविराम के लिए यूक्रेन की तत्परता का आकलन करू, मैं सबसे पहले अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का धन्यवाद करना चाहता हूं, जिन्होंने संघर्ष के समाधान पर ध्यान दिया।”
पुतिन ने अन्य देशों के नेताओं का भी दिया धन्यवाद
पुतिन ने आगे कहा, “हम सभी के पास निपटने के लिए बहुत सारे मुद्दे हैं, लेकिन कई राष्ट्राध्यक्ष, जिनमें चीन के राष्ट्रपति, भारत के प्रधानमंत्री, ब्राजील और दक्षिण अफ्रीकी गणराज्य के राष्ट्रपति शामिल हैं, इस मुद्दे से निपटने में अपना मूल्यवान समय लगा रहे हैं। हम उन सभी के आभारी हैं।”
मोदी का तटस्थ रुख और शांति पर बल
रूसी राष्ट्रपति की यह टिप्पणी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के शांति की दिशा में किए गए प्रयासों का भी सम्मान करती है। फरवरी 2022 में यूक्रेन में संघर्ष शुरू होने के बाद से प्रधानमंत्री मोदी ने पुतिन और यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की से कई बार संवाद किया। उल्लेखनीय है कि पिछले महीने व्हाइट हाउस में डोनाल्ड ट्रंप से मुलाकात के दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने इस बात पर जोर दिया था कि भारत रूस और यूक्रेन के बीच संघर्ष में “तटस्थता” का रुख नहीं अपनाएगा। मोदी ने कहा था, “भारत शांति का पक्षधर है। मैंने राष्ट्रपति पुतिन से पहले ही कह दिया है कि यह युद्ध का युग नहीं है। मैं राष्ट्रपति ट्रंप द्वारा किए गए प्रयासों का समर्थन करता हूं।”


