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साईं बाबा की प्रतिमा को सफेद चादरों में लपेटा, काशी में केवल महादेव ही पूज्य

सनातन रक्षक दल (Sanatan Raksha Dal) की ओर से मंदिरों से सांई बाबा की प्रतिमा हटाई जा रही है। सनातन रक्षक दल के अध्यक्ष अजय शर्मा का कहना है कि मंदिर प्रबंधन की मंजूरी के बाद ही ऐसा किया जा रहा है।

by Reeta Rai Sagar
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Sai Baba Conflict : साईं बाबा को लेकर एक बार फिर से विवाद छिड़ गया है। उतर प्रदेश के वाराणसी में कई मंदिरों से साईं बाबा की प्रतिमा हटाई जा रही है। बड़ा गणेश मंदिर और पुरूषोत्तम मंदिर से साईं की प्रतिमा को हटा दिया गया है। कहा जा रहा है कि ऐसा मंदिर समिति द्वारा परमिशन मिलने के बाद ही किया गया।

इस मामले को एक बार फिर से हिंदू संगठनों ने हवा दी है। सनातन रक्षक दल (Sanatan Raksha Dal) की ओर से मंदिरों से सांई बाबा की प्रतिमा हटाई जा रही है। सनातन रक्षक दल के अध्यक्ष अजय शर्मा का कहना है कि मंदिर प्रबंधन की मंजूरी के बाद ही ऐसा किया जा रहा है। शर्मा ने कहा कि मैं साईं बाबा का विरोधी नहीं हूं। मैं इन प्रतिमाओं का पूरे विधि-विधान से विसर्जन कर रहा हूं।

सवालिया निशान लगाते हुए शर्मा ने कहा कि गणेश भगवान के मंदिर में साईं बाबा का क्या काम है। अगर साईं की पूजा करनी है, तो अलग मंदिर बनाकर उनकी पूजा कराई जाएं। इससे हमें कोई दिक्कत नहीं है। बड़ा गणेश मंदिर और पुरूषोत्त्म मंदिर समेत करीब 14 मंदिरों से साईं बाबा की प्रतिमा को सफेद चादरों में लपेटा गया है। कई प्रतिमाओं को गंगा नदी में विसर्जित किया गया।

गौरतलब है कि शंकराचार्य स्वरूपानंद सरस्वती ने सबसे पहले इस अभियान की शुरूआत की थी। अब एक बार पुनः सनातन रक्षक दल ने इस अभियान को तेजी दी है। इस दल के सदस्य भारी संख्या में लोहटिया स्थित मंदिर पहुंचे और प्रतिमा हटवा दी। यहां पर रोजाना हजारों की संख्या में भक्तों की भीड़ एकत्रित होती थी।

बड़ा गणेश मंदिर के महंत रम्मू गुरु ने कहा कि जानकारी न होने के कारण साईं की पूजा हो रही थी। शास्त्रों में इनकी पूजा वर्जित है। जानकारी होने के बाद प्रतिमा हटा दी गई। अन्नपूर्णा मंदिर के महंत शंकर पुरी का कहना है कि शास्त्र में कहीं भी साईं की पूजा का वर्णन नहीं है। इसलिए मूर्तियां हटाई जा रही हैं।

काशी में केवल शिव ही पूजनीय
सनातक रक्षक दल के अध्यक्ष अजय शर्मा ने कहा कि काशी में केवल देवाधिदेव उमापति महादेव ही पूज्य हैं। शहर में अज्ञानता के कारण साईं की प्रतिमा स्थापित की गई और इनकी पूजा की गई। इससे सनातनी भक्त नाराज हैं। आगे उन्होंने कहा कि भक्तों की भावनाओं को ध्यान में रखते हुए ही प्रतिमाओं को हटाया गया है। सनातन रक्षक दल का कहना है कि अगस्तया कुंडा और भूतेश्वर मंदिर से भी जल्द ही साईं बाबा की प्रतिमा हटाई जाएगी।

इस मामले में समाजवादी पार्टी (SP) के नेता आशुतोष सिन्हा ने कहा है कि ये लोग काशी का माहौल खराब कर रहे हैं। ऐसे निर्णय का मैं विरोध करता हूं। शिक्षा, रोजगार और विकास के मुद्दों पर आज उठाई जानी चाहिए। इस तरह मंदिर-मस्जिद पर कब तक लड़ते रहेंगे। इन लोगों ने 100 मंदिरों की लिस्ट बनाई है।

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