स्पेशल डेस्क : दिवाली खत्म होते ही चारों ओर शुरू हो जाती है महापर्व छठ की तैयारी। गूंजने शुरू हो जाते हैं छठ के गीत। कई नए गीत व एल्बम भी बाजार में बजने शुरू हो जाते हैं। आप भी देख रहे होंगे कि चारों ओर छठ की तैयारी जोरों पर हैं। लोक आस्था महापर्व छठ में अभी कुछ ही दिन बाकी हैं और ज़ाहिर सी बात है कि आप जरूर छठ के दौरान बजने वाले गीतों की प्लेलिस्ट बना रहे होंगे, तो आपका काम आसान करते हुए हमने छठ के वो पांच गीतों की प्लेलिस्ट बनाई है जिनको सुनकर मन भक्ति से भर जाता है।
1) कांच ही बांस के बहंगिया
2) सीतली बियरिया
3) ऊग हे सुरुज देव
4) चल भौजी हाली हाली
5) पहिले पहिल छठी मैया
1) कांच ही बांस के बहंगिया- अनुराधा पौडवाल के मधुर आवाज में गया गया यह गीत छठ पर्व में चार चांद लगा देता है। इस गीत की मधुर स्वरों में छुपा है एक अद्वितीय भावना, जो भक्तों को छठी मां के सामीप्य में ले जाती है। गीत में कांच और बांस के बहंगिया का संदेश है कि छठी मां के सामर्थ्य को हम सराहते हैं और उनकी कृपा में हमें सुख-शांति मिलती है।
2) सीतली बियरिया- यह गीत पवन सिंह और पलक मुच्छल द्वारा गाया गया एक बेहतरीन उदाहरण है की कैसे संगीत हमारे भावनाओं को दर्शाता है। यह गीत छठी मां की पूजा की सांस्कृतिक महत्ता को बयान करता है और सीतली बियरिया के माध्यम से भक्तों को शुभकामनाएं देने का संदेश पहुंचता है।
3) ऊग हे सुरुज देव- लिस्ट में तीसरा गीत उग हे सुरुज देव है। छठ हो और अनुराधा पौडवाल के गीत न सुना जाए यह तो हो ही नहीं सकता है। इस गीत में सूर्य देवता की स्तुति है और उगते हुए सूर्य के रूप में छठी मां का समर्थन किया जाता है। यह गीत भक्तों को आत्मा के उत्थान की दिशा में प्रेरित करता है।
4) चल भौजी हाली हाली – सोनू निगम, पवन सिंह और खुशबू जैन द्वारा गया हुआ यह गीत छठ पूजा और व्रतियों के भावनाओं को एक मॉडर्न टच देते हुए बखूबी दर्शाया है। इस गीत में छठी मां के चरणों में अपनी श्रद्धाभावना को व्यक्त करने का सौभाग्य है। गीत की ऊर्जा और भक्तिभाव सुनने वालों तक साफ पहुंचती है।
5) पहिले पहिल छठी मैया- शारदा सिन्हा ने पहिले पहिल छठी मैया गीत गाकर उन सभी व्रतियों के भाव को दर्शाया है जो छठ पूजा पहली बार करते हैं, क्योंकि इस गीत में पहिले पहिल छठी मैया की पूजा के आदि से जुड़ी ऊंचाइयों और महत्त्वपूर्णता की चर्चा है। भक्तों को पूर्वी भारतीय सांस्कृतिक परंपरा में ले जाने वाले इस गीत से भक्ति में विशेष रूप से लीन होने का अनुभव होता है।
सूर्य की उपासना का है विशेष महत्व
भारतीय सांस्कृतिक विरासत में छठ पूजा एक अद्वितीय स्थान रखती है, जो सूर्य देवता की पूजा और व्रत के साथ जुड़ी है। क्या आपको पता है कि ये एक मात्र ही बिहार या पूरे भारत में मनाया जाने वाला ऐसा पर्व है जो वैदिक काल से चला आ रहा है और बिहार कि संस्कृति बन चुका हैं।
बिहार-झारखंड से आगे पहुंची छठ की महिमा
सामान्य तौर पर यह त्योहार बिहार, झारखण्ड और पूर्वी उत्तर-प्रदेश में मनाया जाता है। इस पूजा में, छठ माता की विशेष पूजा और सूर्य की उपासना को विशेष महत्व दिया जाता है। हिन्दू पंचांग के अनुसार, कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष के चतुर्थी से सप्तमी तिथि तक यह त्योहार मनाया जाता है, जो चार दिनों तक चलता है। इस अद्वितीय त्योहार में, छठी मां की पूजा के दौरान सुने जाने वाले ये पांच गीत भक्तों का मन भक्ति में लीन कर देते हैं।