रांची : जमशेदपुर को आद्योगिक शहर (Industrial City) बनाने की घोषणा हो चुकी है। इस घोषणा को अमल में लाए जाने के बाद जमशेदपुर की पहचान देश के पहले औद्योगिक नगर की हो जाएगी। झारखंड सरकार की कैबिनेट ने जमशेदपुर को औद्योगिक नगर बनाने की घोषणा कर दी है।
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की अध्यक्षता में राज्य मंत्रिपरिषद की हुई बैठक में जमशेदपुर में 15,725 एकड़ में जमशेदपुर औद्योगिक नगरी के गठन की योजना की मंजूरी दी गई है।
अबतक देश में नहीं हैं Industrial City
झारखंड सरकार के जमशेदपुर को औद्योगिक शहर(Industrial City) बनाने की घोषणा को ऐतिहासिक कहा जा सकता है। जानकारों के अनुसार, अबतक देश में कहीं भी औद्योगिक नगर नहीं है। कई कंपनियों की निजी कालोनियां हैं लेकिन वहां सिर्फ अपने कर्मचारियों के लिए ही नागरिक सुविधा उपलब्ध कराई जाती है।
हालांकि बोलचाल में कुछ शहरों को आद्योगिक शहर (Industrial City) कहा जाता है। जमशेदपुर के औद्योगिक शहर(Industrial City) बन जाने के बाद यहां की व्यवस्था और शहरी सुविधाओं के संचालन में बड़ा बदलाव हो सकता है। सरकार की ओर से लिए गए निर्णय के अनुसार व्यवस्था के संचालन व देखरेख के लिए एक समिति का गठन किया जाएगा।
औद्योगिक नगर (Industrial City) के लिए समिति में ये होंगे शामिल
जमशेदपुर औद्योगिक नगर के संचालन के लिए एक संयुक्त समिति का गठन किए जाने का प्रस्ताव है। इस गठित समिति में राज्य सरकार के छह प्रतिनिधि शामिल होंगे, जबकि टाटा स्टील से 11 प्रतिनिधियों को इसमें रखा जाएगा। वहीं, जमशेदपुर निकाय से 10 लोगों को इस समिति में रखे जाने का प्रस्ताव है। यह समिति की सारी व्यवस्था देखेगी।
औद्योगिक नगर में ये मिलेगी सुविधाएं
जानकारों का कहना है कि अगर जमशेदपुर औद्योगिक नगर (Industrial City) बनता है तो यहां कई सुविधाएं बढ़ जाएंगी। गैर कंपनी या बस्ती क्षेत्र में भी कंपनी क्षेत्र की तरह पानी-बिजली, सफाई सहित अन्य सुविधाएं मिलेगी। फिलहाल गैर कंपनी क्षेत्र में झारखंड राज्य विद्युत वितरण निगम आपूर्ति करती है, जबकि पानी के लिए मोहरदा जलापूर्ति की व्यवस्था है। हालांकि, जमशेदपुर औद्योगिक नगर बनता है तो टाटा कंपनी पूरी तरह से व्यवस्था संभाल लेगी तो 24 घंटे निर्बाध बिजली व पानी मिलने की उम्मीद है।
आम जनता को यह होगा फायदा (Industrial City)
सबसे अधिक फायदा आम जनता को होगा। अभी तक गैर कंपनी क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को सामान्य सुविधाओं के लिए भी तरसना पड़ता था। कंपनी और गैर कंपनी क्षेत्र में सुविधाओं के मामले में अंतर साफ नजर आता रहा है। लोगों को बिजली, पानी व साफ-सफाई के लिए काफी मशक्कत करनी पड़ती है लेकिन अगर इसकी जिम्मेदारी कंपनी संभाल लेती है तो गैर कंपनी क्षेत्र के लोगों की आधे से अधिक परेशानी दूर हो जाएगी। कंपनी क्षेत्र में रहनेवालों को तो सुविधाएं पहले से ही मिल रही हैं।
कौन-कौन होंगे औद्योगिक नगर समिति में
– राज्य सरकार के प्रतिनिधि : जिला प्रभारी मंत्री या स्थानीय मंत्री।
– सदस्य : एसडीओ, जिला परिवहन पदाधिकारी, उपसमाहर्ता, टाटा लीज, राज्य सरकार द्वारा अधिसूचित पदाधिकारी।
– टाटा स्टील के प्रतिनिधि : टाटा स्टील के वाइस प्रेसिडेंट
– सदस्य : प्रबंध निदेशक, जुस्को, चीफ कारपोरेट एडमिनिस्ट्रेशन, जीएम, टाउन एडमिनिस्ट्रेशन, चीफ, लैंड एंड मार्केट, टाटा स्टील, ईआइसी, टाउन प्लानिंग एंड
आर्किटेक्ट, जुस्को, चीफ, लीगल फंक्शन, जुस्को, चीफ सीएसआर, टाटा स्टील, चीफ, वाटर मैनेजमेंट, जुस्को, चीफ पब्लिक हेल्थ, जुस्को, विशेषज्ञ, कैपिटल प्लानिंग टाटा स्टील।
– स्थानीय शहरी प्रतिनिधि : जमशेदपुर के सांसद, विधायक, जमशेदपुर पूर्वी व पश्चिमी, अध्यक्ष, टाटा वर्कर्स यूनियन, नगर विकास एवं आवास द्वारा मनोनीत सेवा, कला, उद्योग, सामाजिक, संस्कृति, खेल से ख्यातिप्राप्त छह प्रतिनिधि शामिल किए जाएंगे।