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जमशेदपुर में 24 घंटे के भीतर चार लोगों ने की आत्महत्या

by Rohit Kumar
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जमशेदपुर में आत्महत्याओं की घटनाएं थमने का नाम नहीं ले रही हैं। बीते 24 घंटे में चार लोगों ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली, जिनमें एक नाबालिग छात्रा भी शामिल है। इन घटनाओं ने शहर में सनसनी फैला दी है। पुलिस ने सभी शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है और मामले की जांच जारी है।

बोड़ाम में छात्रा ने तनाव में आकर दी जान

पहली घटना बोड़ाम थाना क्षेत्र के लायलम पंचायत की है, जहां 15 वर्षीय नौवीं कक्षा की छात्रा ने गुरुवार देर रात अपने घर में फांसी लगा ली। पुलिस के अनुसार, छात्रा लंबे समय से मानसिक तनाव में थी। परिवार के सभी सदस्यों के सोने के बाद उसने छत में लगी लकड़ी की कड़ी से फांसी लगा ली। शुक्रवार सुबह जब परिजनों ने उसे देखा, तो तुरंत पुलिस को सूचना दी गई। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए एमजीएम मेडिकल कॉलेज भेज दिया है।

बागबेड़ा में दो लोगों ने लगाई फांसी

दूसरी घटना बागबेड़ा थाना क्षेत्र में हुई, जहां दो लोगों ने अलग-अलग स्थानों पर फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली।
पहली घटना गुरुवार देर शाम की है, जब 20 वर्षीय प्रेमचंद्र कर्मकार ने फांसी लगाई। प्रेमचंद्र गम्हरिया थाना क्षेत्र के जन्नाथपुर का रहने वाला था और बागबेड़ा में किराए के मकान में रहकर मजदूरी करता था। उसका शव फंदे से लटका हुआ पाया गया।

दूसरी घटना बागबेड़ा के हरहरगुट्टू में सुभाष स्कूल के पास हुई, जहां 40 वर्षीय कालीपद प्रमाणिक ने एक निर्माणाधीन भवन की खिड़की से फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। कालीपद पश्चिम बंगाल का रहने वाला था और मानसिक रूप से विक्षिप्त था। वह स्टेशन के आसपास घूमकर अपना गुजारा करता था।

परसुडीह में अधेड़ व्यक्ति ने फांसी लगाकर दी जान

तीसरी घटना परसुडीह थाना क्षेत्र के शांतिनिकेतन एक ब्लॉक में हुई। यहां 40 वर्षीय आशीष चौधरी ने अपने कमरे में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। पुलिस के अनुसार, आशीष अकेले रहते थे और कुछ दिनों से डिप्रेशन में थे। गुरुवार देर शाम उन्होंने गमछे की मदद से पंखे से लटककर आत्महत्या कर ली। पड़ोसियों ने जब उनके कमरे से कोई हलचल नहीं देखी, तो पुलिस को सूचना दी गई। पुलिस ने शव को फंदे से उतारकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है।

आत्महत्या की बढ़ती घटनाओं से चिंतित प्रशासन

शहर में आत्महत्याओं की लगातार बढ़ती घटनाएं पुलिस और प्रशासन के लिए चिंता का विषय बन गई हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि मानसिक तनाव, अकेलापन और आर्थिक तंगी आत्महत्या के प्रमुख कारण हो सकते हैं। पुलिस सभी मामलों की जांच कर रही है और लोगों से अपील की है कि मानसिक स्वास्थ्य को लेकर जागरूक रहें और जरूरत पड़ने पर परामर्श लें।

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