रांची : झारखंड सरकार ने कृषि क्षेत्र में सुधार और किसानों की आर्थिक स्थिति को मजबूत करने के उद्देश्य से ‘किसान समृद्धि योजना’ की शुरुआत की है। इस योजना का मुख्य उद्देश्य किसानों को बेहतर पटवन (सिंचाई) की सुविधा उपलब्ध कराना है, जिससे उनकी फसल उत्पादन क्षमता में वृद्धि हो सके। इस योजना के तहत किसानों को सौर ऊर्जा से संचालित पंप उपलब्ध कराए जा रहे हैं, जिससे वे बिना बिजली और डीजल पर खर्च किए अपने खेतों तक पानी पहुंचा सकेंगे। ये बातें गुरुवार को कृषि मंत्री शिल्पी नेहा तिर्की ने कही।
15 हजार किसानों ने किया आवेदन
उन्होंने कहा कि किसान समृद्धि योजना के तहत दो प्रकार के सौर ऊर्जा पंप किसानों को उपलब्ध कराए जा रहे हैं, जिनकी बाजार दर 1,80,752 रुपये और 1,81,752 रुपये है। लेकिन इस योजना के लाभार्थियों को 90 प्रतिशत की सब्सिडी दी जा रही है, जिसके तहत उन्हें केवल 18 हजार 175 रुपये ही चुकाने होंगे। अब तक 15 हजार से ज्यादा किसानों ने इस योजना के तहत आवेदन किया है।
किसान समृद्धि योजना का किया निरीक्षण
राज्य की कृषि, पशुपालन एवं सहकारिता मंत्री शिल्पी नेहा तिर्की ने मांडर के बांसजाड़ी गांव में जाकर किसान समृद्धि योजना का निरीक्षण किया और लाभार्थी किसानों से योजना से संबंधित जानकारी ली। इस दौरान मंत्री ने कहा कि इस योजना के माध्यम से किसानों को फसल पटवन में होने वाले भारी खर्च से मुक्ति मिलेगी। सौर ऊर्जा पंपों से किसानों को बिजली और डीजल पर होने वाले खर्च से राहत मिलेगी। वे अपनी फसलों की सिंचाई सस्ती और प्रभावी तरीके से कर सकेंगे।
अधिकारियों के साथ की बैठक
मंत्री ने इस अवसर पर मांडर प्रखंड कार्यालय में अधिकारियों के साथ बैठक की और सरकार द्वारा संचालित योजनाओं को तेजी से लागू करने के निर्देश दिए। उन्होंने अधिकारियों से कहा कि लाभार्थियों की संख्या बढ़ाने और योजनाओं के लाभ को अधिक से अधिक किसानों तक पहुंचाने के लिए प्रयास किए जाएं। साथ ही कहा कि यह योजना झारखंड के किसानों के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है, जो उनकी आय में सुधार लाने के साथ-साथ कृषि क्षेत्र को भी सशक्त बनाएगी।