Ranchi (Jharkhand) : झारखंड के राज्यपाल संतोष कुमार गंगवार की अध्यक्षता में बुधवार को राजभवन में इंडियन रेड क्रॉस सोसाइटी की राज्य प्रबंध समिति (State Managing Committee) की महत्वपूर्ण बैठक आयोजित हुई। इस दौरान राज्यपाल ने रेड क्रॉस की कार्यप्रणाली को और अधिक प्रभावी, पारदर्शी और जनकल्याणकारी बनाने के लिए कई अहम निर्देश दिए।
रक्तदान को सामाजिक जनांदोलन बनाने पर बल
राज्यपाल ने कहा कि स्वैच्छिक रक्तदान को केवल एक जरूरत नहीं, बल्कि एक सामाजिक जनआंदोलन के रूप में अपनाना होगा। उन्होंने विश्वविद्यालयों, महाविद्यालयों, एनएसएस, एनसीसी, स्काउट-गाइड जैसी संस्थाओं को रक्तदान शिविरों में सक्रिय भागीदारी सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। राज्यपाल ने कहा, “रक्तदान एक पुण्य कार्य है। मैंने स्वयं 15-20 बार रक्तदान किया है।” उन्होंने यह भी कहा कि यदि रक्त की अधिकता हो तो उसे पास के जिलों में वितरित किया जाए ताकि रक्त की बर्बादी रोकी जा सके। साथ ही, रक्तदान से जुड़ी भ्रांतियों को दूर करने के लिए जन-जागरूकता अभियान चलाया जाए और उन दाताओं को सम्मानित किया जाए जिन्होंने 50 बार या उससे अधिक बार रक्तदान किया है।
संवेदनशीलता व सेवा का प्रतीक है रेड क्रॉस
राज्यपाल ने रेड क्रॉस को भारतीय संस्कृति में सेवा, करुणा और परोपकार का जीवंत उदाहरण बताया। उन्होंने कहा कि यह संस्था बीते सौ वर्षों से आपदा, विपदा और स्वास्थ्य संकट के समय मानवीय सहायता का प्रतीक रही है। उन्होंने यह भी चेतावनी दी कि अगर समय पर रक्त की उपलब्धता न होने से किसी की मृत्यु होती है, तो यह रेड क्रॉस समेत संबंधित सभी की निष्क्रियता की निशानी मानी जाएगी।
रक्त की बिक्री पर जताई कड़ी नाराज़गी
राज्यपाल ने चिंता जताई कि कुछ जगहों पर रक्त की बिक्री की शिकायतें सामने आई हैं। उन्होंने स्पष्ट निर्देश दिए कि रेड क्रॉस को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि कोई मरीज या परिजन मजबूरी में रक्त न खरीदे। संस्था को एक भरोसेमंद और समर्पित रक्तदाता मंच के रूप में समाज में स्थापित करना होगा।
देहदान, अंतिम संस्कार जैसे कार्यों में बढ़ाएं भागीदारी
राज्यपाल ने भारत रत्न नानाजी देशमुख द्वारा किए गए देहदान का उल्लेख करते हुए इसे रेड क्रॉस के लिए एक प्रेरणास्रोत बताया। उन्होंने कहा कि रेड क्रॉस की जिला इकाइयों को लावारिस शवों के अंतिम संस्कार जैसे संवेदनशील कार्यों में भी भागीदारी निभानी चाहिए।
ग्रामीण और जनजातीय क्षेत्रों में सेवा का विस्तार
उन्होंने रेड क्रॉस की जिला इकाइयों को अधिक सक्रिय और प्रभावशाली बनाने की जरूरत पर बल दिया, ताकि सेवा का विस्तार ग्रामीण एवं जनजातीय क्षेत्रों तक किया जा सके। राज्यपाल ने सभी इकाइयों को वार्षिक प्रतिवेदन तैयार करने के भी निर्देश दिए।
पारदर्शिता, प्रशिक्षण और सतत सदस्यता पर जोर
राज्यपाल ने रेड क्रॉस के सभी कार्यों में वित्तीय पारदर्शिता और जवाबदेही सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। उन्होंने आपदा प्रबंधन, प्राथमिक चिकित्सा और स्वास्थ्य संकट से संबंधित प्रशिक्षण कार्यक्रमों को नियमित करने की आवश्यकता पर बल दिया। साथ ही, संस्था को सतत सदस्यता अभियान के ज़रिये सक्रिय बनाए रखने का सुझाव दिया, जिससे समाज की अन्य संस्थाएं भी स्वयं सहायता और अनुदान के लिए आगे आएं।
राज्यपाल ने जताई गहरी आस्था
राज्यपाल गंगवार ने कहा,“एक राज्यपाल के रूप में मैं रेड क्रॉस की सेवा भावना से जुड़े हर प्रयास में हरसंभव सहयोग दूंगा। सेवा ही हमारा संकल्प बने, यही हमारी पहचान हो।” बैठक में राज्यपाल के अपर मुख्य सचिव-सह-सोसाइटी के उपाध्यक्ष डॉ. नितिन कुलकर्णी, राज्य परियोजना निदेशक शशि रंजन, निदेशक (खेल) शेखर जमुआर, सोसाइटी की झारखंड राज्य शाखा के पदाधिकारी, जिला इकाइयों के प्रतिनिधि एवं सदस्य उपस्थित रहे।
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