सरायकेला : झारखंड के सरायकेला-खरसावां जिले की राजनगर थाना पुलिस ने एक बड़ी कार्रवाई करते हुए फर्जी लूटकांड (Fake Robbery) का पर्दाफाश किया है और पांच शातिर जालसाजों को गिरफ्तार किया है। गिरफ्तार किए गए अपराधियों में भारत फाइनेंस के तीन कलेक्शन एजेंट शामिल हैं। पुलिस के मुताबिक आरोपियों में निवारण प्रधान, वासुदेव महतो, सुदीप भक्त, अरुण पुराण, और विवेकानंद पातर शामिल हैं। इनकी गिरफ्तारी के बाद पुलिस ने इनके पास से कई अहम साक्ष्य भी बरामद किए हैं।
बरामद सामान
पुलिस ने आरोपियों की निशानदेही पर उनके पास से कई महत्वपूर्ण सामान बरामद किए हैं, जिनमें बायोमेट्रिक डिवाइस, हाउसिंग सर्वेक्षण वितरण के फॉर्म, भारत फाइनेंस के कलेक्शन शीट, जला हुआ टैब, चाकू, दो मोटरसाइकिल, बायोमेट्रिक बैग, दो टैब, और 7600 रुपये नगद शामिल हैं। इस खुलासे की जानकारी बुधवार को एसपी मुकेश कुमार लुणायत ने एक प्रेस कांफ्रेंस में दी।
कलेक्शन एजेंट का खेल
एसपी ने बताया कि पिछले साल सितंबर से राजनगर थाना क्षेत्र में कलेक्शन एजेंट के साथ लूटकांड की घटनाएं हो रही थीं, जिनमें हर 15-15 दिन के बाद एफआईआर दर्ज कराई जाती थी। पुलिस को इन घटनाओं पर शक हुआ और इसके बाद एसडीपीओ के नेतृत्व में एक एसआईटी का गठन किया गया। इस टीम ने तकनीकी और मानवीय साक्ष्य के आधार पर इस मामले का सनसनीखेज खुलासा किया।
किराए पर लोकेशन देने वाले कलेक्शन एजेंट
एसपी ने बताया कि कंपनी के कलेक्शन एजेंट ही अपराधियों को लोकेशन किराए पर देते थे और लूट की झूठी कहानी गढ़कर पुलिस में एफआईआर दर्ज कराते थे। पुलिस ने यह भी खुलासा किया कि कलेक्शन एजेंट अपने आरोपियों को 10-10 हजार रुपये देते थे, जबकि बाकी पैसे आपस में बांट लिए जाते थे।
एसआईटी का बेहतर अनुसंधान
एसआईटी की टीम ने इस मामले की गहरी जांच की और न केवल कलेक्शन एजेंटों को गिरफ्तार किया, बल्कि पेशेवर अपराधियों को भी सलाखों के पीछे पहुंचाया। एसपी मुकेश कुमार लुणायत ने इस पूरी टीम को उनके उत्कृष्ट अनुसंधान के लिए सराहा और उन्हें सुझाव देने का ऐलान किया।