रांची : कल्याण मंत्री चमरा लिंडा ने बुधवार को डॉ. राम दयाल मुंडा जनजातीय कल्याण शोध संस्थान मोरहाबादी में राज्य-स्तरीय जनजातीय चित्रकार शिविर का उद्घाटन किया। इस अवसर पर उन्होंने झारखंड की जनजातीय कला और संस्कृति के संरक्षण की जरूरतों पर बल दिया। यह आयोजन झारखंड और भारत सरकार के जनजातीय कार्य मंत्रालय के संयुक्त तत्वावधान में हो रहा है।

मंत्री ने कहा कि झारखंड के जनजातीय स्वतंत्रता सेनानियों की वीरता को चित्रों के माध्यम से जन-जन तक पहुंचाना बेहद आवश्यक है। उन्होंने बताया कि इस चार दिवसीय शिविर का आयोजन धरती आबा बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती के अवसर पर किया गया है, जिसमें राज्यभर के वरिष्ठ एवं युवा जनजातीय चित्रकार हिस्सा ले रहे हैं। इन चित्रों के माध्यम से वीर स्वतंत्रता सेनानियों जैसे बिरसा मुंडा, सिद्धू-कान्हू, चांद-भैरव, तिलका मांझी, वीर बुधु भगत और नीलांबर-पीतांबर के संघर्ष और योगदान को जीवंत किया जाएगा।
झारखंड की समृद्ध कला का प्रदर्शन
शिविर में जनजातीय चित्रकला की विभिन्न शैलियों, जैसे सोहराई, कोहबर, पिठौरा, गोंड और वारली का प्रयोग किया जाएगा। इसके जरिए झारखंड की समृद्ध कला परंपरा को प्रदर्शित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि यह शिविर जनजातीय समाज को उनकी कला और इतिहास से जुड़ने का एक बेहतरीन अवसर प्रदान करेगा और इन कलाकारों को एक मंच मिलेगा। जहां वे अपनी कला के माध्यम से स्वतंत्रता संग्राम के महानायकों की गाथाओं को जीवित कर सकते हैं।
चित्रों की एक विशेष प्रदर्शनी
शिविर के समापन पर इन चित्रों की एक विशेष प्रदर्शनी आयोजित की जाएगी। जिसमें इन चित्रों को झारखंड के विभिन्न सरकारी कार्यालयों, संग्रहालयों और सार्वजनिक स्थलों पर स्थापित करने की योजना है। जिससे कि आने वाली पीढ़ियां इन वीरता की गाथाओं से अवगत हो सकें। मंत्री ने यह भी घोषणा की कि राज्य सरकार जनजातीय कलाकारों को राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने के लिए कई योजनाओं पर काम कर रही है।
शिविर का उद्देश्य जनजातीय समाज की अमूल्य धरोहर को सहेजने के साथ-साथ कलाकारों को प्रोत्साहित करना है। यह आयोजन झारखंड की सांस्कृतिक विरासत को संरक्षित करने के साथ-साथ जनजातीय चित्रकारों को एक नया मंच देने का भी कार्य करेगा। समापन समारोह में उत्कृष्ट चित्रकारों को विशेष सम्मान और पुरस्कार प्रदान किया जाएगा।
ये रहे मौजूद
मौके पर टीसीडीसी प्रबंध निदेशक नियोलसन बागे, कल्याण आयुक्त अजय नाथ झा और अन्य प्रमुख अधिकारी भी उपस्थित थे।