लखनऊ : उत्तर प्रदेश में शराब की दुकानों पर चल रहे ‘वन प्लस वन फ्री’ ऑफर को लेकर आम आदमी पार्टी (AAP) ने योगी आदित्यनाथ सरकार पर गंभीर आरोप लगाए हैं। पार्टी के वरिष्ठ नेता सौरभ भारद्वाज ने कहा कि यूपी सरकार हिंदुओं को शराबी बनाने की कोशिश कर रही है। उनका यह बयान खासकर रमजान के महीने में आया है, जब अल्पसंख्यक समुदाय के लोग पवित्र महीने के दौरान शराब से दूर रहते हैं। भारद्वाज ने योगी सरकार को घेरते हुए सवाल किया कि भाजपा क्यों लोगों को शराबी बनाने का प्रयास कर रही है?
जानबूझकर शराबी बनाने का लगाया आरोप:
AAP नेता सौरभ भारद्वाज ने कहा कि रमजान के दौरान अल्पसंख्यक समुदाय के लोग शराब से दूर रहते हैं, लेकिन यूपी सरकार ने ‘वन प्लस वन फ्री’ के ऑफर के जरिए हिंदू धर्म को लक्ष्य बनाकर शराब बिक्री को बढ़ावा देने की कोशिश की है। उन्होंने योगी सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि सरकार जानबूझकर हिंदुओं को शराबी बनाने की कोशिश कर रही है, जबकि अल्पसंख्यक समुदाय रमजान के दौरान शराब से दूर रहता है।
वन प्लस वन ऑफर को बंद करने की मांग की
सौरभ भारद्वाज ने आगे कहा कि बीजेपी को यह स्पष्ट करना चाहिए कि वे यह क्यों कर रहे हैं? इस तरह के कदम लोगों की मानसिकता को प्रभावित करेंगे और समाज में नकारात्मक असर डालेंगे। AAP नेता ने यूपी में चल रही शराब नीति के तहत इस तरह के ऑफर्स को तुरंत बंद करने की मांग की।
शराब स्टॉक खत्म करने को दिया गया है 31 मार्च तक समय:
दरअसल, उत्तर प्रदेश में शराब विक्रेताओं ने सरकार की नई शराब नीति के तहत भारी छूट देने की शुरुआत कर दी है। राज्य सरकार ने शराब के स्टॉक को खत्म करने के लिए दुकानदारों को 31 मार्च तक का समय दिया है, और इस दौरान उन्हें शराब पर ‘वन प्लस वन फ्री’ जैसे ऑफर्स देने की अनुमति दी गई है। यह ऑफर शराब विक्रेताओं के लिए इस बात को सुनिश्चित करने का तरीका है कि उनका स्टॉक समय रहते खत्म हो जाए, क्योंकि सरकार की नई शराब नीति के तहत नई दुकानों के लिए टेंडर जारी किए गए हैं।
नुकसान से बचने के लिए दिए जा रहे ऑफर:
शराब विक्रेताओं का कहना है कि सरकार के नए आदेश के अनुसार, यदि वे स्टॉक खत्म नहीं कर पाए तो उन्हें भारी नुकसान उठाना पड़ेगा। यही वजह है कि दुकानदार अपनी शराब की बोतलें बिक्री के लिए छूट देकर या ‘वन प्लस वन फ्री’ जैसे ऑफरों के माध्यम से बेचने की कोशिश कर रहे हैं।
नई शराब नीति और इसका प्रभाव:
उत्तर प्रदेश की नई शराब नीति में शराब के स्टॉक की बिक्री पर जोर दिया गया है, जिससे दुकानदारों को अपने पुराने स्टॉक को खत्म करना होगा। अगर वे ऐसा नहीं करते हैं, तो उन्हें बचा हुआ माल नष्ट करना पड़ेगा, जिससे उन्हें भारी आर्थिक नुकसान हो सकता है। इस कारण, दुकानदारों ने ग्राहकों को आकर्षित करने के लिए विभिन्न प्रकार के डिस्काउंट और ऑफर्स दिए हैं।
सामाजिक और धार्मिक दृष्टिकोण:
सौरभ भारद्वाज ने इस पूरे मामले को सामाजिक और धार्मिक दृष्टिकोण से देखने की बात कही है। उनका कहना है कि जब एक समुदाय रमजान के दौरान शराब से दूर रहता है, तो दूसरी ओर यूपी सरकार का यह कदम यह संकेत देता है कि सरकार समाज के एक वर्ग को शराब पीने के लिए प्रोत्साहित कर रही है। उन्होंने योगी सरकार से सवाल किया कि वे किस तरह के कदम उठा रहे हैं और समाज पर इसके क्या प्रभाव हो सकते हैं।
समाज में पड़ रहा नकारात्मक प्रभाव: AAP
AAP ने इस मुद्दे पर योगी आदित्यनाथ सरकार से मांग की है कि इस ‘वन प्लस वन फ्री’ ऑफर को तुरंत बंद किया जाए। पार्टी का कहना है कि यह कदम समाज में नकारात्मक प्रभाव डाल सकता है और सरकार को ऐसे ऑफर्स को लेकर पुनर्विचार करना चाहिए।