RANCHI (JHARKHAND): जेपीएससी मुख्य परीक्षा का रिजल्ट शुक्रवार को जारी कर दिया गया। जिसमें धनबाद के आशीष अक्षत ने नंबर 1 रैंक हासिल किया है। आशीष अक्षत ने जेपीएससी परीक्षा में टॉप कर यह साबित कर दिया कि कठिन परिश्रम और परिवार का सपोर्ट हो तो कोई भी सफलता हासिल की जा सकती है। झारखंड लोक सेवा आयोग की जारी लिस्ट में आशीष ने प्रथम स्थान प्राप्त कर झारखंड पुलिस सेवा में जाने का अपना लक्ष्य हासिल कर लिया है।
इंस्पेक्टर पिता है लाइफ के हीरो
आशीष ने बताया कि उनका प्रारंभिक सफर बेहद सामान्य रहा। उनके पिता सुबोध कुमार श्रीवास्तव झारखंड पुलिस में इंस्पेक्टर के पद से सेवानिवृत्त हुए हैं और आशीष ने उन्हीं से पुलिस सेवा में आने की प्रेरणा ली। उन्हें मेंटोर मानते हुए सलाह भी ली। उनकी मां गायत्री देवी हाउसवाइफ हैं, जिन्होंने हर कदम पर उनका साथ दिया। और साथ दिया उनके बड़े भाई ने। जिन्होंने पढ़ाई के दौरान भी उनका मार्ग दर्शन किया।
धनबाद से पूरी की स्कूलिंग
आशीष ने धनबाद के डीनोवली स्कूल से दसवीं तक की पढ़ाई की और इसके बाद प्लस टू के लिए डीएवी बोकारो चले गए। वहां से एआईईईई की परीक्षा दी और बेहतरीन रैंक प्राप्त कर एनआईटी जमशेदपुर में दाखिला लिया। वहीं से सिविल इंजीनियरिंग में बीटेक पूरा किया। बीटेक के बाद उन्हें कैंपस प्लेसमेंट के माध्यम से नौकरी मिल गई और उन्होंने कई प्राइवेट कंपनियों में कार्य भी किया। लेकिन सिविल सेवा में आने के सपने ने उन्हें पुनः पढ़ाई की ओर लौटने को प्रेरित किया। आशीष ने यूपीएससी की भी तैयारी की और परीक्षा दी। साथ ही जेपीएससी में भी किस्मत आजमाई। पिछले प्रयास में वे इंटरव्यू तक पहुंचे थे, लेकिन इस बार अपनी दूसरी कोशिश में उन्होंने पहला स्थान हासिल किया है।
फैमिली फंक्शन से बनाई दूरी
आशीष बताते हैं कि जेपीएससी परीक्षा का सिलेबस स्थिर है। अगर कोई नियमित और लगन से तैयारी करे तो सफलता निश्चित है। उन्होंने बताया कि बीच में असफलताएं भी आईं, पर हार न मानते हुए लगातार प्रयास करते रहे। सिविल सर्विस की तैयारी के लिए जॉब भी छोड़ा। फिर जॉब करते हुए ही पढ़ाई के लिए समय निकाला। सुबह शाम पढ़ाई करता रहा। वीकेंड पर भी घर में पढ़ाई पर फोकस किया। दोस्तों और रिश्तेदारों के फंक्शन से दूरी बना ली।
देखता था मोटिवेशनल वीडियो
जेपीएससी मैं सेलेक्शन होने के बाद इंटरव्यू के लिए तैयारी कर रहा था इस दौरान डीएसपी की पठशाला के मोटिवेशनल वीडियो देखता रहा। इन्टरव्यू के लिए गाइडलाइंस भी ली। इसके अलावा डीएसपी विकास कुमार श्रीवास्तव सर का भी मार्ग दर्शन मिलता रहा। वह अच्छे मोटिवेटर है। उनकी इंटरव्यू गाइडेंस काफी मददगार रही। यहीं वजह है कि आज मैं इस मुकाम को हासिल कर पाया हूं।
बड़े भाई ने भी दी थी परीक्षा
आशीष ने सफलता का श्रेय अपने माता-पिता, बड़े भाई कुमार अभिषेक और पत्नी को दिया। कुमार अभिषेक भी जेपीएससी की तैयारी कर रहे थे और दोनों भाइयों ने ग्रुप डिस्कशन और साझा अध्ययन से तैयारी को धार दी। हालांकि, इस परीक्षा में उनके भाई का चयन नहीं हो पाया, लेकिन आशीष ने टॉप कर परिवार और झारखंड का नाम रोशन कर दिया।