भुवनेश्वर : ओडिशा सरकार ने आपातकाल के दौरान जेल जाने वाले संग्रामियों को प्रतिमाह 20 हजार रुपये पेंशन देने की घोषणा की है। इसमें पेंशन के अलावा संग्रामी को मुफ्त चिकित्सा सेवा भी उपलब्ध कराए जाने का प्रस्ताव दिया गया है। सोमवार को राज्य गृह विभाग ने एक अधिसूचना जारी करके इस संबंध में जानकारी दी। इस सुविधा को 1 जनवरी से लागू कर दिया गया है। इस आशय की घोषणा ओडिशा के मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी ने 2 जनवरी को की थी।
इन कानूनों के अंतर्गत जेल जाने वाले लोगों को मिलेगी सुविधा
राज्य गृह विभाग ने जारी अधिसूचना में कहा है कि राज्य सरकार द्वारा आपातकाल के दौरान ओडिशा राज्य के जेल में कैद रहने वाले संग्रामियों को प्रतिमाह 20 हजार रुपये पेंशन एवं चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराने का प्रस्ताव अनुमोदित किया गया है। इसके अंतर्गत 25 जून, 1975 से 21 मार्च, 1977 के बीच आपातकाल के दौरान मीसा( आंतरिक सुरक्षा अधिनियम 1971, डीआइआर (भारत का रक्षा नियम) अथवा डीआइएसआइआर (भारत का रक्षा और आंतरिक सुरक्षा नियम) के अंतर्गत जेल में रहने वाले लोगों को पेंशन और चिकित्सा सेवा की सुविधा प्रदान की जाएगी। 1 जनवरी 2025 तक जीवित संग्रामियों को यह सुविधा प्रदान की जाएगी।
इन राज्यों में पहले से लागू है पेंशन योजना
आपातकाल के दौरान जेल जाने वाले संग्रामियों को पेंशन की सुविधा देने वाला ओडिशा पहला राज्य नहीं है। इसके पहले भी कई अन्य राज्यों में भी पेंशन की सुविधा पहले से लागू है। आपातकाल के दौरान जेल जाने वाले संग्रामियों को पेंशन की सुविधा देने वाले राज्यों में हरियाणा, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान, झारखंड, उत्तर प्रदेश और असम भी शामिल हैं। ज्ञात हो कि इंदिरा गांधी की सरकार ने 1975 में आपातकाल की घोषणा की थी। आपातकाल के दौरान सरकार के खिलाफ प्रत्यक्ष अथवा अप्रत्यक्ष रूप से विरोध करने वाले लोगों को जेल में बंद कर दिया गया था। इस दौरान प्रेस पर भी सेंसरशिप लगा दी गई थी।
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