सेंट्रल डेस्क नई दिल्ली : सहारा रिफंड से राशि की वापसी शुरू: गृह मंत्री व सहकारिता मंत्री अमित शाह ने वर्षो से सहारा इंडिया में अपने फंसे पैसे को लेकर परेशान लोगों के चेहरे पर मुस्कुराने के लिए एक तोहफा दिया है। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की पहल पर लोगों के सहारा इंडिया में फंसे पैसे वापस मिलने की शुरुआत हो गई है।
बीते शुक्रवार को अमित शाह ने फंड को निवेशकों के खाता में ट्रांसफर करने के लिए एक पोर्टल की शुरुआत की थी। इस पोर्टल का नाम सहारा रिफंड पोर्टल है। अमित शाह ने इस पोर्टल से सहारा में फंसे लोगों के पैसे की पहली किस्त ट्रांसफर किया। शुरू में 112 लाभार्थियों को 10- 10 हजार की पहली किस्त ट्रांसफर की गई है।
पैसे ट्रांसफर होने से सहारा इंडिया में जमा किये करोड़ों निवेशकों के चेहरे पर खुशी है। क्योंकि इन करोड़ों निवेशकों को लगता था कि अब पैसा उन्हें नहीं मिलेगा। ऐसे में सरकार द्वारा इस तरह के कदम उठाने से लोगों में खुशी है। गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि सहारा रिफंड पोर्टल पर अबतक 18 लाख लोग रजिस्ट्रेशन करा चुके है। इससे पहले पिछले 18 जुलाई को केंद्रीय मंत्री अमित शाह ने नई दिल्ली ने सहारा रिफंड पोर्टल लांच किया था।
सहकारिता मंत्रालय ने सुप्रीम कोर्ट में दाखिल की किया था अर्जी
सहारा के करोड़ों निवेशकों को वापस पैसा रिफंड करने को लेकर सहकारिता मंत्रालय ने सुप्रीम कोर्ट में अर्जी दाखिल की थी। जिसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने 5 हजार करोड़ रुपये सीआरसीएस को ट्रांसफर करने का आदेश दिया था। ये करोड़ों निवेशक अपना पैसा सहारा ग्रुप के सहारा क्रेडिट को ऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड, सहारा यूनिवर्सल मल्टीपरपज सोसाइटी, हमारा इंडिया क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड, और स्टार्स मल्टीपरपज कोऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड के पास जमा किये थे।
बिहार, झारखंड, उतर प्रदेश मध्यप्रदेश के सबसे ज्यादा निवेशक
सहारा ग्रुप में सबसे अधिक अपने लुभावने स्कीम के जरिए बिहार झारखंड उत्तर प्रदेश मध्य प्रदेश जैसे राज्यों में ज्यादा विस्तार किया । सहारा ने विशेष रूप से गांव, देहात व छोटे शहरों के अधिकांश लोगों तक अपनी विभिन्न स्कीम के जरिये पैठ बनाई। पैसे जमा करने वालों अधिकांश अधिकांश वैसे लोग थे जो सरकारी पदों से रिटायर्ड होने वाले शिक्षक, कर्मचारी, किसान, मजदूर आदि थे।
सहारा के कर्मचारी विभिन्न स्कीम के तहत लोगों की गाढ़ी कमाई ज्यादा से ज्यादा सहारा के स्कीम के तहत जमा कराई। सालों तक सहारा इसी तरह से इन राज्यों के करोड़ों इन्वेस्टर तक अपनी पैठ बना चुकी थी। जिसके तहत अरबो रुपये लोग जमा कर चुके थे। काफी संख्या में लोगों को समय पूरा होने के बावजूद कुछ नहीं मिला। ऐसे में लोग हताश थे। अपने को ठगे महसूस कर रहे थे। हालांकि अब सरकार के इस कदम से उन्हें विश्वास होने लगा है कि उन्हें उनकी हक का पैसा वापस मिल जायेगा।
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