रांची: बांग्लादेश के लालमोनिरहाट जिले में चीन के लिए एयरबेस बनाने का प्रस्ताव दिए जाने के बाद भारत सरकार के कान खड़े हो गए हैं। बांग्लादेश के अंतरिम सरकार के मुखिया मोहम्मद यूनुस ने अपनी चीन यात्रा के दौरान इस संबंध में चीन को बड़ा ऑफर दिया है। यह प्रस्ताव चीन के लिए बांग्लादेश के लालमोनिरहाट जिले में एयरबेस स्थापित करने का है।
लालमोनिरहाट जिला भारत के सिलीगुड़ी कॉरिडोर के बेहद करीब है, जिसे चिकन नेक के नाम से जाना जाता है। इस कारण भारत सरकार इस प्रस्ताव को लेकर चिंता में है। जानकारी के मुताबिक, यह एयरबेस परियोजना अक्टूबर तक शुरू हो सकती है, और इसमें एक पाकिस्तानी कंपनी भी सहयोग करेगी।
भारत ने शुरू किया अध्ययन
भारत सरकार ने बांग्लादेश में चीन के एयरबेस बनाने के प्रस्ताव पर रिपोर्ट्स का अध्ययन शुरू कर दिया है। लालमोनिरहाट जिला भारत के जलपाईगुड़ी और कोचबिहार के पास स्थित है, और यहां चीन की उपस्थिति भारत के लिए एक नई सुरक्षा चुनौती पेश कर सकती है।
इसके अलावा, बांग्लादेश पाकिस्तान के साथ भी अपनी रणनीतिक साझेदारी को मजबूत करने की दिशा में कदम बढ़ा रहा है। पाकिस्तान के विदेश मंत्री इशाक डार 24 अप्रैल को ढाका यात्रा करेंगे, साथ ही 17 अप्रैल को बांग्लादेश और पाकिस्तान के विदेश सचिवों के बीच बैठक भी होगी।
मोहम्मद यूनुस का विवादित बयान
इस बीच, मोहम्मद यूनुस ने अपनी चीन यात्रा के दौरान एक और विवादित बयान दिया था, जिसमें उन्होंने भारत के सात पूर्वोत्तर राज्यों को “भूमि से घिरे” बताते हुए बांग्लादेश को इन राज्यों के लिए समुद्र तक पहुंचने का एकमात्र रास्ता बताया था। भारत के नेताओं ने इस बयान पर कड़ी आपत्ति जताई थी।
चिकन नेक का सामरिक महत्व
चिकन नेक, जिसे सिलीगुड़ी कॉरिडोर भी कहा जाता है, भारत के लिए अत्यधिक सामरिक महत्व रखता है। यह एक संकरा 60 किमी लंबा और सिर्फ 21 किमी चौड़ा मार्ग है, जो भारत के पूर्वोत्तर राज्यों को बाकी देश से जोड़ता है। इस क्षेत्र की सुरक्षा भारतीय सेना, सीमा सुरक्षा बल और अन्य सुरक्षा एजेंसियों द्वारा की जाती है। 2017 में भारत और चीन के बीच डोकलाम में हुई सैन्य टकराव की स्थिति भी चिकन नेक के पास स्थित थी।