Jharkhand-Bihar News : बिहार के पूर्णिया जिले में हुए दिल दहला देने वाले हत्याकांड पर झारखंड में भी तीखी प्रतिक्रिया देखने को मिली है। झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने इस जघन्य घटना पर गहरी चिंता जताते हुए बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मांग की है कि दोषियों को कड़ी से कड़ी सजा दी जाए। उन्होंने कहा कि ऐसा अमानवीय कृत्य सभ्य समाज के लिए शर्मनाक है और इसे किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं किया जा सकता।
बिहार में आदिवासी समाज पूरी तरह असुरक्षित
कैबिनेट मंत्री डॉ. इरफान अंसारी ने भी इस घटना की तीखी निंदा करते हुए इसे मानवता पर कलंक और आदिवासी अस्मिता पर सीधा हमला बताया है। उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा शासित बिहार में आदिवासी समाज पूरी तरह असुरक्षित हो गया है और वहां उनके जीवन और अधिकारों की कोई गारंटी नहीं रह गई है। डॉ. अंसारी ने कहा कि इस हत्याकांड ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है। उन्होंने मुख्यमंत्री से आग्रह किया है कि झारखंड सरकार की ओर से एक उच्चस्तरीय प्रतिनिधिमंडल गठित किया जाए, जिसमें उन्हें भी शामिल किया जाए, ताकि वह घटनास्थल पर जाकर स्थिति का जायजा ले सकें और पीड़ित परिवार को न्याय दिलाने की दिशा में कदम उठा सकें।
उन्होंने कहा कि इस मामले की निष्पक्ष और तेज़ जांच होनी चाहिए तथा बिहार सरकार और केंद्र सरकार को मिलकर इस मामले में कठोर कार्रवाई सुनिश्चित करनी चाहिए। डॉ. अंसारी ने मुख्यमंत्री से इस विषय को सर्वोच्च प्राथमिकता देने की मांग की और कहा कि राज्य सरकार को संवेदनशीलता और प्रतिबद्धता के साथ इस पर तत्काल कार्रवाई करनी चाहिए।
5 को पीटने के बाद जिंदा जलाया
गौरतलब है कि 6 जुलाई की रात बिहार के पूर्णिया जिले के टेटगमा गांव में डायन होने के संदेह में एक ही परिवार के पांच सदस्यों को भीड़ ने पीट-पीटकर जिंदा जला दिया था। इस वीभत्स घटना में घर के मुखिया, उनकी पत्नी, बेटा, बहू और वृद्ध मां की मौत हो गई थी। यह घटना सिर्फ कानून-व्यवस्था पर सवाल नहीं उठाती, बल्कि यह सामाजिक सोच और मानवता के स्तर पर भी एक गंभीर चुनौती है, जिससे निपटने के लिए एकजुट प्रयासों की जरूरत है।
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